Ajit Pawar , NCP, Lok Sabha Election
अजित पवार

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मुंबई: पड़ोसी राज्य कर्नाटक (Karnataka) में होने जा रहे विधानसभा चुनाव में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) ताल ठोकने की तैयारी कर रही है। आगामी 10 मई को कर्नाटक विधानसभा की 224 सीटों पर चुनाव होने वाला है। इनमें से करीब 40 से 45 सीटों पर चुनाव लड़ने की योजना एनसीपी (NCP) ने बनाई हैं। इसके लिए पार्टी ने 15 स्टार प्रचारकों (Star Campaigners) की सूची भी घोषित की है, जिसमें पार्टी के नंबर-2 नेता कहे जाने वाले अजीत पवार (Ajit Pawar) का नाम नहीं है। 

पार्टी के राष्ट्रीय सचिव और वर्किंग कमेटी के सदस्य एस.आर. कोहली द्वारा चुनाव आयोग को भेजी गई स्टार प्रचारकों की सूची में अजीत पवार का नाम न होने से एक बार फिर उनकी भूमिका को लेकर चर्चा शुरू हो गई है।

ये होंगे एनसीपी के स्टार प्रचारक

कर्नाटक विधानसभा चुनाव में एनसीपी के स्टार प्रचारकों की सूची में राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद पवार, प्रफूल पटेल, पी. पी. मोहम्मद फजल, सुप्रिया सुले, डॉ. फौजिया खान, धीरज शर्मा, सोनिया दोहन, सिराज मेहंदी, शिवाजी राव गजरे, कर्नाटक अध्यक्ष आर. हरी, प्रदीप कुमार, उमा महेश्वर रेड्डी, रामभाऊ जाधव, बृजमोहन श्रीवास्तव और क्लाइड क्रेस्टो शामिल हैं।

बज चुकी है रणभेरी

कर्नाटक चुनाव की रणभेरी बज चुकी है। इस चुनाव में सत्ताधारी बीजेपी, मुख्य विपक्षी कांग्रेस के बीच जोरदार चुनावी मुकाबला होने वाला है। दोनों पार्टियां इस जंग को जीतने के लिए कोई कसर छोड़ना नहीं चाहती हैं। इसके अलावा राज्य में कई सीटों पर बीजेपी, कांग्रेस और जद (एस) के बीच त्रिकोणीय मुकाबला है। इस बीच, शरद पवार की अगुवाई वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी भी चुनावी ताल ठोकने की तैयारी कर रही हैं। बताया गया कि एनसीपी भी कर्नाटक में 40-45 सीटों पर चुनाव लड़ने की प्लानिंगर कर रही है। एनसीपी के इस कदम को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा हासिल करने के प्रयास के रूप में भी देखा जा रहा है। उल्लेखनीय है कि हाल में ही चुनाव आयोग ने एनसीपी का राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा ख़त्म कर दिया था।

मिलेगी ‘अलार्म घड़ी’

गुजरात, गोवा, मेघालय और मणिपुर जैसे राज्यों में अपने कमजोर प्रदर्शन के कारण एनसीपी का राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा ख़त्म हो चुका है। पार्टी फिर से अपना पुराना दर्जा प्राप्त करने की फ़िराक में है। पार्टी के चुनाव प्रभारी महेश तपासे के अनुसार,  कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए ‘अलार्म घड़ी’ चुनाव चिह्न आवंटित करने के लिए इलेक्शन कमीशन को एक लेटर लिखा गया था, जिसे स्वीकार कर लिया गया है। महाराष्ट्र-कर्नाटक के सीमावर्ती जिलों सहित कर्नाटक के 40 से 45 विधानसभा क्षेत्रों से उम्मीदवार उतारने की योजना बन गई है।