नवभारत न्यूज नेटवर्क
मुंबई: मानसून से पहले नाला सफाई का काम युद्धस्तर पर चल रहा है। हालांकि जिन ठेकेदारों को सफाई का काम दिया गया है, उनमें से कुछ ने लापरवाही बरती है। बीएमसी प्रशासन ने ऐसे 31 ठेकेदारों पर दंडात्मक कार्रवाई की है और उन पर 30 लाख 83 हजार रुपए का जुर्माना ठोका है।
भारी बारिश के दौरान जल जमाव न हो इसलिए महानगर के छोटे-बड़े नालों से कचरा निकाला जा रहा है। नालों की सफाई होने से बारिश के पानी की तेजी से निकासी होने में मदद मिलती है। इस साल मानसून से पहले कुल 10 लाख 21 हजार 782 मीट्रिक टन कचरा निकालने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। जिसमें से 6 लाख 23 हजार 631 मीट्रिक टन यानी 61.03 प्रतिशत कचरा निकाला जा चुका है।
15 मार्च 2024 से 29 अप्रैल 2024 तक की अवधि में नाला सफाई कार्य में 31 स्थानों पर लापरवाही और त्रुटियां सामने आई हैं। बीएमसी ने लापरवाह ठेकेदारों के खिलाफ दंडात्मक करते उनसे कुल 33 लाख 83 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है। बीएमसी आयुक्त भूषण गगरानी ने संबंधित विभाग के अधिकारियों को सफाई कार्यों की प्रभावी मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं।
सबसे ज्यादा मुंबई शहर में ठेकेदारों पर कार्रवाई
जिन ठेकेदारों पर दंडात्मक कार्रवाई की गई है, उनमें मुंबई शहर के 12 ठेकेदार (19 लाख 75 हजार रुपए), पूर्वी उपनगर के 10 ठेकेदार (7 लाख 20 हजार रुपए) और पश्चिमी उपनगर के 9 ठेकेदारों (3 लाख 88 हजार रुपए) का समावेश है। काम में गड़बड़ी के हिसाब से जुर्माना राशि तय की जाती है। जुर्माने की राशि ठेकेदारों की देय राशि से काटी जाएगी। बीते शनिवार को निरीक्षण के दौरान गोवंडी में डंपिंग कैनाल से कचरा हटाने का काम शुरू नहीं करने पर ठेकेदार डीबी इंफ्रास्ट्रक्चर पर 1 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है।