मुंबई में अब 336 नगरसेवक, BMC के प्रस्ताव पर मंत्रिमंडल की मुहर

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    मुंबई: राज्य कैबिनेट ने बुधवार को बीएमसी (BMC) में नगरसेवकों (Corporators) की संख्या बढ़ाने को मंजूरी दे दी। बैठक की अध्यक्षता मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Chief Minister Uddhav Thackeray) ने की। वर्तमान में बीएमसी में नगरसेवकों की संख्या 227 है। 9 सीटें बढ़ाने की मंजूरी मिलने से बीएमसी के निर्वाचित सदस्यों-नगरसेवकों की संख्या अब 236 हो जाएगी। मुंबई महानगरपालिका (Mumbai Municipal Corporation) के प्रस्ताव पर मंत्रिमंडल (Cabinet) ने मुहर लगा दी है।

    कैबिनेट निर्णय में कहा गया है कि मुंबई महानगरपालिका अधिनियम (1888 का 3) की धारा 5 में 227 निर्वाचित सदस्य हैं। यह संख्या 2001 की जनगणना पर आधारित है। 2011 की जनगणना के बाद से निर्वाचित सदस्यों की संख्या में कोई बदलाव नहीं आया है और यह संख्या वही रही है। 2011 की जनगणना के अनुसार, 2001 से 2011 के बीच बीएमसी की जनसंख्या में 3.87 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। 

    नगरसेवकों की संख्या बढ़ाकर 236 करने को मंजूरी दी

    जनसंख्या में इस वृद्धि, बढ़ते शहरीकरण को देखते हुए बढ़ा हुआ प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करना आवश्यक था। तदनुसार, निर्वाचित सदस्यों की संख्या में वृद्धि करने का निर्णय लिया गया है। इसी के अनुरूप कैबिनेट ने निर्वाचित सदस्यों यानी नगरसेवकों की संख्या बढ़ाकर 236 करने को मंजूरी दी। नगरविकास मंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि वॉर्डों का परीसीमन का आदेश निकलने के बाद वॉर्डों का पुर्ननिर्धारण किया जाएगा।

    चुनाव में देरी की संभावना

    मुंबई में नए सिरे से वॉर्डों का परिसीमन कर वॉर्डों की पुर्नरचना की जाएगी। मुंबई में करीब 4 प्रतिशत जनसंख्या में वृद्धि हुई है। उसी को आधार मान कर वॉर्डों की संख्या बढ़ाई जानी है। जानकार बता रहे हैं कि शहर में सीटें बढ़ने की संभावना कम है। जो भी सीटें बढ़ेंगी वह पूर्व और पश्चिम उपनगर में ही बढ़ाई जाएंगी। परिसीमन में होने वाली देरी के कारण समय पर चुनाव होने की संभावना जताई जा रही है।

    बीजेपी ने किया सवाल 

    मुंबई में सीटों की संख्या बढ़ाने के निर्णय पर बीजेपी ने सवाल किया है। बीजेपी का कहना है कि जब अन्य महानगरपालिकाओं में 15 प्रतिशत परीसीमन का आदेश निकला था तो उस समय मुंबई को उससे अलग क्यों किया गया। यह महाविकास आघाडी की शिवसेना सरकार जानबूझकर चुनाव टालने की साजिश रच रही है। मुंबई महानगरपालिका में नगरसेवकों की संख्या 227 से बढ़ा कर 236 किया जा रहा है, लेकिन केवल 9 सीटें बढ़ाना समझ में नहीं आया। चुनाव सिर पर है। ऐसे में सीटों की संख्या बदलने का निर्णय महाविकास आघाडी और शिवसेना ने लिया है।

    सीटें बढ़ाने का अधार क्या था। केवल राजनीतिक फायदे के लिए यह निर्णय लिया गया है। केवल 9 सीटें बढ़ाने का आधार क्या था। इनमें से जनसंख्या या जनगणना को आधार बनाया गया है क्या। केवल 9 सीटें बढ़ाने का निर्णय यह दिखाता है कि शिवसेना चुनाव से ड़री हुई है। परीसीमन का सहारा लेकर चुनाव जीतने का उनकी साजिश कामयाब नहीं होगी।

    -भालचंद शिरसाट, बीजेपी प्रवक्ता, मुंबई

    हम मुख्यमंत्री के इस निर्णय का स्वागत करते हैं। मुंबई की जनसंख्या में वृद्धि हुई है। इसलिए यह निर्णय लिया गया है। 9 नगरसेवकों की संख्या बढ़ेगी। सभी इलाके को विकास का समान अवसर प्रदान होगा।

    -यशवंत जाधव, अध्यक्ष, स्थायी समिति बीएमसी

    हम महाविकास आघाडी सरकार के निर्णय का स्वागत करते हैं। वॉर्डों की जनसंख्य में असमानता थी। कहीं 50 हजार जनसंख्या थी तो कहीं 75 हजार। नगरसेवकों की संख्या अधिक होने से वार्डों के लोगों को समान रुप से मुंबई में होने वाले विकास का लाभ मिलेगा।

    -रविराजा, विरोधी पक्ष नेता, बीएमसी