Fraud
फ़ाइल फोटो

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नागपुर. क्रिप्टो करेंसी में पैसा निवेश करवाने के नाम पर धोखाधड़ी करने वाले विदेशी नागरिक को 6 वर्ष बाद गिरफ्तार करने में पुलिस को सफलता मिली. उसने शहर के चर्चित अपराधी और ठग निषेध वासनिक के साथ मिलकर वर्ष 2017 में एक क्रिप्टो करेंसी का व्यापार शुरू किया था. लोगों को लाखों रुपये का चूना लगाकर फरार हो गया था. इस मामले में निषेध वासनिक, अभिजीत श्रीगिरवार, गोंदिया निवासी शमी जायसवाल और कृष्णा भांडारकर को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका था लेकिन मुख्य आरोपी मलेशिया निवासी माइक लूसी उर्फ बहरुद्दीन बिन मोहम्मद यूनुस फरार हो गया था.

पुलिस के अनुसार वर्ष 2017 में बहरुद्दीन नागपुर आया था. यहां उसने फ्यूचर बिट कंपनी की स्थापना की. अपनी गैंग में अपराधी निषेध वासनिक, अभिजीत, शमी और कृष्णा को भी शामिल कर लिया. आरोपियों ने शहर के बड़े-बड़े होटलों में सेमिनार आयोजित किए. लोगों को बताया कि फ्यूचर बिट कंपनी के जरिए बिट क्वाइन खरीदने पर उन्हें भारी मुनाफा होगा. बिट क्वाइन खरीदने पर 90 दिन के भीतर ही रकम दोगुनी हो जाएगी. आरोपी ने www.thefuturebi.com नामक वेबसाइट भी शुरू की थी. बड़ी संख्या में लोगों ने उनके झांसे में आकर फ्यूचर बिट में पैसा निवेश कर दिया.

वर्ष 2017 में ही वह राणा प्रतापनगर थाना क्षेत्र में स्थित अपना कार्यालय बंद करके फरार हो गया. निवेशकों में से एक मयुरेश गणोरकर ने प्रकरण की शिकायत पुलिस से की. आरोपियों ने लगभग 38.26 लाख रुपये का चूना लगाया था. पुलिस ने धोखाधड़ी, एमपीआईडी एक्ट और प्राइज एंड चिट्स मनी सर्क्युलेशन एक्ट सहित विविध धाराओं के तहत मामला दर्ज किया. अन्य 4 आरोपियों को तो पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था लेकिन बहरुद्दीन अंडरग्राउंड हो गया था. निषेध वासनिक का इथेरियम फ्रॉड सामने आने के बाद पुलिस ने पुराने मामलों की भी जड़ें खंगाली. बहरुद्दीन के फरार होने का पता चला.

वह विदेशी नागरिक होने के कारण पुलिस ने उसकी गिरफ्तारी के लिए लुक आउट सर्कुलर भी जारी करवाया था. 3 दिन पहले वह दिल्ली से मलेशिया भागने की तैयारी में था. दिल्ली में इमिग्रेशन विभाग के कर्मचारियों ने उसे नजरबंद कर नागपुर पुलिस को जानकारी दी. डीसीपी अर्चित चांडक के मार्गदर्शन में एपीआई श्रीकांत संघर्षी, हेड कांस्टेबल योगेश हरणे और नीलेश तुरंत दिल्ली रवाना हुए और उसे गिरफ्तार कर नागपुर लाया गया. न्यायालय ने उसे 12 जनवरी तक पुलिस हिरासत में रखने के आदेश दिए हैं.