Maharashtra Politics

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नागपुर. कांग्रेस नेता आशीष देशमुख अचानक ही सोमवार की सुबह-सुबह भाजपा प्रदेशाध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले के घर पहुंच गए. उनके साथ नाश्ता किया. राहुल गांधी द्वारा वीर सावरकर की गई टिप्पणी के बाद देशमुख ने उन्हें ओबीसी समाज से माफी मांगने का पत्र लिखा था. उसके बाद उन्हें कांग्रेस से निलंबित कर दिया गया. हालांकि देशमुख का कहना है कि उन्होंने पार्टी की भलाई के लिए ऐसा कहा था ताकि आगामी चुनावों में ओबीसी समाज की नाराजी का परिणाम न भुगतना पड़े. अब जब पार्टी से निलंबित देशमुख बावनकुले के घर पहुंचे और उनके साथ नाश्ता किया तो कयास लगने लगे हैं कि क्या देशमुख फिर भाजपा में जाएंगे. दोनों नेताओं की ब्रेकफास्ट डिप्लोमेसी पर कई तरह के कयास राजनीतिक महकमें में लगाए जा रहे हैं. 

कहा, आशीर्वाद लेने आया हूं…

देशमुख ने पत्रकारों के सामने बावनकुले की तारीफ के कसीदे भी पढ़े. उन्होंने कहा कि वे मेरे साथ विधायक थे, मंत्री थे. वे हमारे ऊर्जावान ऊर्जा मंत्री थे. इसके अलावा उन्होंने पालक मंत्री के रूप में नागपुर जिले के लिए जो कार्य किया वह उल्लेखनीय था. आज उन्होंने मुझे अपने निवास में नाश्ते पर बुलाया है इसलिए मैं आया. देशमुख ने यह भी कहा कि बावनकुले वरिष्ठ  हैं उनके माध्यम से हमारे कुछ कार्य भी निश्चित होते हैं. इतना ही नहीं उनके लंबे राजनीतिक अनुभव का आशीर्वाद मिले इस हेतु से भी आया हूं. उन्होंने इस मुलाकात का किसी तरह से राजनीति से संबंध होने से इनकार कर दिया. 

APMC चुनाव के बाद बड़ा प्रवेश

देशमुख व बावनकुले के बीच करीब आधा घंटा चर्चा हुई. हालांकि बावनकुले ने भी दोनों के बीच किसी तरह की राजनीतिक चर्चा से इनकार किया लेकिन कहा कि एपीएमसी चुनाव के बाद भाजपा में बड़े नेताओं का प्रवेश होगा. उनके इस बयान के बाद किसी पार्टी के कौन-कौन नेता भाजपा में शामिल होंगे इस पर कयास लगने शुरू हो गए हैं. चर्चा तो यह भी है कि देशमुख-बावनकुले ब्रेकफास्ट डिप्लोमेसी का परिणाम कुछ ही दिनों में नजर आएगा.