गैस सिलेंडर महंगा होने के कारण केरोसिन की काला बाजारी बढ़ी

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    -राजीत यादव

    नवी मुंबई: गैस सिलेंडर (LPG) की कीमत में लगातार इजाफा हो रहा है, जिसकी वजह से गरीब वर्ग के लोग इसे खरीदने में असमर्थ हो गए हैं। वहीं दूसरी ओर सरकार द्वारा सरकारी राशन की दुकानों (Government Ration Shops) पर केरोसिन (Kerosene) देना बंद कर दिया है। ऐसी विकट परिस्थिति में गरीबों को 100 रुपए लीटर की दर से काला बाजार (‍Black Marketing) से केरोसिन खरीदना पड़ रहा है। जबकि तेल कंपनियों द्वारा 62 रुपए लीटर के हिसाब से केरोसिन बेचा जा रहा है।

    गौरतलब है कि देश को चूल्हा मुक्त बनाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा उज्ज्वला जैसी योजनाएं लागू की गई है। इस योजना के तहत उन लोगों को गैस सिलेंडर और चूल्हा उपलब्ध कराया गया है, जिन्हें सरकारी राशन की दुकान से केरोसिन मिलता था। जिसके चलते जहां अब सरकारी राशन की दुकान पर गरीबों को केरोसिन नहीं मिल रहा है, वहीं बढ़ती कीमतों के कारण घरेलू उपयोग के लिए ईंधन के रूप में इस्तेमाल किए जा रहे गैस सिलेंडर अब गरीबों की पहुंच से बाहर होते जा रहा है। जिसका फायदा केरोसिन की काला बाजारी करने वाले जमकर उठा रहे हैं।

    नौकरी करने वालों की टूट रही कमर

    गौर हो कि अधिकांश लोगों को अब घरेलू गैस के सिलेंडर का उपयोग करने की आदत हो गई। जिसकी कीमत अब 1,000 रुपए तक पहुंच गई है। बड़े परिवार में जहां एक सिलेंडर 20 से 25 दिन में खत्म हो जाता है, वहीं छोटे परिवार में एक सिलेंडर लगभग 45 दिन तक भोजन बनाने के काम आता है। जो लोग 10 से 20 हजार रुपए तक की नौकरी करते हैं, या किसी अन्य रोजगार के माध्यम महीने 20 हजार रुपए तक कमाते हैं, उनके सामने यात्रा खर्च, राशन और सिलेंडर खरीदने की विकट समस्या पैदा हो गई है। बढ़ती महंगाई ने छोटे वेतन वालों की कमर तोड़ना शुरू किया है।

     2 वर्ष से सिलेंडर पर मिलने वाली है सब्सिडी बंद

    एक समय था जब घरेलू गैस का सिलेंडर 450 रुपए में मिल रहा था, लेकिन अब इसकी कीमत हजार रुपए तक पहुंच गई है। केंद्र सरकार द्वारा पहले घरेलू गैस के सिलेंडर पर उपभोक्ता को सब्सिडी दी जाती थी, जो विगत 2 वर्ष से बंद है। जिसकी वजह से गैस सिलेंडर के दाम अब आसमान छू रहे हैं। वहीं विगत 3 माह के दौरान तेल कंपनियों के द्वारा केरोसिन के दाम में भी वृद्धि की गई है। जनवरी 2022 में तेल कंपनियां 46.12 रुपए लीटर केरोसिन बेच रही थीं, जिसे फरवरी में बढ़ाकर 54.42 रुपए लीटर किया था और अब इसका दाम 61.38 रुपए लीटर कर दिया है, लेकिन यह खुले बाजार में उपलब्ध नहीं है। जिसके चलते केरोसिन की काला बाजारी दिनों दिन बढ़ रही है।  

    घरेलू गैस सिलेंडर पर दी जाने वाली सब्सिडी को केंद्र सरकार द्वारा फिर से शुरू करने की जरूरत है। इसके साथ ही जिन लोगों को सरकार द्वारा उज्जवला योजना के तहत गैस सिलेंडर व चूल्हा उपलब्ध कराया गया है, उन्हें सस्ते दाम में सिलेंडर उपलब्ध कराना चाहिए। ऐसा नहीं होने पर गरीब और मध्य वर्ग के लोगों को मजबूरी में फिर से स्टोव पर खाना बनाने की नौबत आएगी। जिसके चलते केरोसिन की काला बाजारी को और बढ़ावा मिलेगा।

    -खाजामिया पटेल, अध्यक्ष रिपब्लिकन सेना नवी मुंबई