- समिक्षा बैठक को नही बुलाने का आरोप
- निधी को लेकर आक्रमक हुये
- जिप सभागृह के पास किया आंदोलन
- पालकमंत्री के खिलाफ लगाये नारे
वर्धाः समिक्षा बैठक को लेकर गुरूवार को भाजपा के सांसद, विधायक,जिप अध्यक्ष समेत पदाधिकारी आक्रमक हुये.बैठक में नही बुलाने के कारण उन्होंने जिला परिषद के सभागार के सामने धरना देकर पालकमंत्री निषेध किया.जनप्रतिनिधीयों आक्रमक रूख से परिसर में माहोल गरमाया गया था.
कोरोना संक्रमन के चलते पालकमंत्री सुनिल केदार जिला परिषद के सभागार में निरंतर बैठक ले रहे है.गुरूवार को आयोजित बैठक का जिप अध्यक्ष सरिता गाखरे, सांसद रामदास तडस व विधायक डा.पंकज भोयर, दादाराव केचे, समीर कुणावार निमंत्रण नही दिया गया. पालकमंत्री के उपस्थिती में होनेवाली बैठक में जनता के प्रश्न एवं विकास कार्यां पर होनेवाली चर्चा में जानबुझकर बुलाया नही जाता है ऐसा आरोप सांसद व विधायकों ने लगाया. अन्य मंत्री जिलें में आते है तब निमंत्रण दिया जाता है.किंतु पालकमंत्री के समय क्यों निमंत्रण नही दिया जाता, ऐसा सवाल सांसद तडस व विधायकों ने उपस्थित किया.
आम जनता व किसानों के प्रश्न हल करने के लिये समिक्षा बैठक बुलाई जाती है. बावजूद इसके पालकमंत्री की उपस्थिती में होनेवाली बैठक को जनप्रतिनिधी, सांसद, विधायक, जिप अध्यक्ष, सभापतियों विश्वास में नही लिया जाता. सत्ताधारी पक्ष उनके विदयमान व पुर्व विधायक, जिलाध्यक्ष को बुलाकर उनकी उपस्थिती में सरकारी बैठक लेते है.फिर हमें बैठक में क्यो नही बुलाया जाता, ऐसा सवाल सांसद तडस ने उपस्थित किया. कोराना महामारी के समय में महाविकास आघाडी राजनिती करने का आरोप लगाकर सांसद रामदास तडस,विधायक डा.पंकज भोयर, समीर कुणावार, दादाराव केचे, जि.प.अध्यक्ष सारीता गाखरे, उपाध्यक्ष वैशाली येरावार, सभापति मृणाल माटे, जिलाध्यक्ष शिरीष गोडे, महामंत्री मिलींदे भेंडे, जयंत येरावार, अशोक कलोडे ने सत्तापक्ष के खिलाफ आंदोलन किया.
गठबंधन सरकारने निधी नही दिया अपितुं भाजप सरकार के कार्यकाल में दिया हुआ निधी वापिस लेने का आरोप लगाया. कोरोना के कारण मंत्रालय में जनप्रतिनिधी नही जा सकते ऐसे में जिलास्तर पर होनेवाली बैठकों से जनता के प्रश्न हल किये जा सकते है.किंतु पालकमंत्री बैठक को नही बुलाते जिससे किसान, आमजनों के प्रश्न हम कैसे सुलझायें ऐसा प्रश्न सांसद तडस व विधायकों ने उपस्थित किया.