Israel Corona Updates : The war against corona in Israel intensified, the trial of the fourth dose of the corona vaccine started
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    यवतमाल. जिले में टीकाकरण बंद है. वैक्सीन की कमी से यह समस्या निर्माण हो गयी है. टीकाकरण के लिए नागरिक कई केंद्रों में पहुंच रहे हैं, किंतु उन्हें बैरंग लौटना पड़ रहा है. टीकों की अनुपलब्धता के कारण नागरिक अनावश्यक रूप से पीड़ित हैं. जिले में अब तक 2.5 लाख नागरिकों का टीकाकरण किया जा चुका है और 2.5 लाख लाभार्थी दूसरे डीके का इंतजार कर रहे हैं. इसमें कोवैक्सीन की बड़ी कमी है. वर्तमान में टीकाकरण को कोरोना के लिए सबसे प्रभावी हथियार के रूप में देखा जाता है. यही वजह है कि जिले में अब तक 3 लाख से अधिक नागरिकों को टीका लगाया जा चुका है.

    प्रतिदिन 18,000 टीके की जरूरत

    पहली डोज लेने वाले लाभार्थियों की संख्या लगभग 2.50 लाख है. 50 हजार नागरिकों ने टीकाकरण की दूसरी डोज ले ली है. टीकाकरण अभियान को गति देने के लिए जिले को प्रतिदिन 18 हजार टीकों की आवश्यकता है. हर दिन केवल 900 टीके उपलब्ध हो रहे हैं. जिससे टीकाकरण केंद्रों पर कमी है. सैकड़ों लोग सुबह से ही टीकाकरण केंद्रों पर पहुंच रहे हैं. दोपहर 12 बजे तक टीकों का स्टॉक खत्म हो रहा है. नतीजतन केंद्र में बहुत भ्रम है, क्योंकि टीके कई के लिए उपलब्ध नहीं हैं. कई नागरिकों को लौटना पड़ता हैं. दूसरी डोज लेने वाले लाभार्थियों की संख्या बहुत बड़ी है. विशेष रूप से जिले के कई लाभार्थियों ने शुरू में कोवैक्सीन की पहली डोज ली. लगभग 40 दिन बितने के बाद दूसरा डोज लेना आवश्यक है. लाभार्थियों को टीकाकरण केंद्र की दहलीज पहनना पड़ता है, क्योंकि उन्हें दूसरे डोज के लिए कोवैक्सीन नहीं मिल रही है. टीकाकरण केंद्र के बारे में पूछताछ करते हुए यह कहा जाता है कि उनकी कोई योजना भी नहीं है.

    180 केंद्रों पर टीकाकरण

    आनलाइन पंजीकरण के कारण ग्रामीण क्षेत्रों में भ्रम की स्थिति 1 मई के बाद सभी 18 वर्षीय बच्चों के लिए टीकाकरण शुरू किया गया है. इसके लिए जिले में टीकाकरण केंद्र स्थापित किए गए हैं और लगभग 180 केंद्रों पर टीकाकरण किया जा रहा है. इसके लिए 18 वर्ष से अधिक आयु के नागरिकों को आनलाइन पंजीकरण करना होगा. लेकिन आनलाइन पंजीयन के बारे में ग्रामीण क्षेत्रों में पर्याप्त जागरूकता नहीं है. टीकाकरण केंद्र पर भ्रम की स्थिति है.

    धीमी गति से हो रही आपूर्ति

    जिले को 18,000 टीकों की आवश्यकता है, किंतु आपूर्ति कुछ हद तक धीमी गति से आगे बढ़ रही है. दूसरी डोज लेने वाले लाभार्थियों को घबराना नहीं चाहिए. भले ही थोड़ी देर हो, प्रतिरक्षा प्रणाली पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ता है. जल्द ही वैक्सीन की आपूर्ति बहाल कर दी जाएगी.

    -हरि पवार, जिला स्वास्थ्य अधिकारी

    2-3 दिनों होगा उपलब्ध

    केंद्र सरकार के निर्देशों के अनुसार टीकाकरण अभियान चल रहा है. राज्यों के पास नीति तय करने की शक्ति नहीं है. शीर्ष अदालत ने केंद्र से वैक्सीन नीति बनाने को कहा है जो निश्चित, पारदर्शी और भरोसेमंद हो, लेकिन टीकाकरण में हर जगह भ्रम छाया है. प्रशासन ने कहा कि यह टीका अगले 2-3 दिनों में उपलब्ध हो जाएगा.

    -प्रा. घनश्याम धरणे, यवतमाल

    वैक्सीन कोविशील्ड की और सर्टिफिकेट कोवैक्सीन का

    यवतमाल के पास मोहा पुनर्वास टीकाकरण केंद्र में लगभग 200 लोगों को टीका लगाया गया था. ऑनलाइन प्रमाणपत्र जारी होने के बाद यह उल्लेख किया गया था कि इस पर कोवैक्सीन टीका दिया गया था. वैक्सीन कोविशील्ड की लगाई और सर्टिफिकेट कोवैक्सीन का दिया गया. इसलिए 190 वैक्सीन प्राप्त करते समय 190 नागरिकों को विभिन्न कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है. कोवैक्सीन की दूसरी डोज ली जानी चाहिए, क्योंकि कोविशिल्ड ऐसी दुविधा का लाभार्थी है. पवित्रा 190 लाभार्थियों ने स्पष्ट रूप से कहा है कि उन्हें टीका नहीं दिया जाएगा जब तक कि यह स्पष्ट रूप से नहीं कहा जाता है कि अगर कोई टीका दिया जाता है तो जीवन के लिए कोई खतरा नहीं है.

    -भीमराव जयसिंह कटकर, लाभार्थी, यवतमाल

    अंतिम तिथि के पहले टीका लगवाएं

    समयवधि 40 दिनों की है जब मैंने कोवैक्सीन की पहली डोज ली थी. टीकाकरण केंद्र में जाकर कोवैक्सीन की दूसरी डोज लेना है, लेकिन टीकाकरण केंद्र पर वैक्सीन उपलब्ध नहीं है. इसलिए हर दिन मैं अपने बेटे के साथ विभिन्न केंद्रों पर टीकाकरण के लिए आती हूं. आज सावरगड केंद्र में भी स्थिति ऐसी ही थी. समाप्ति की तारीख से पहले टीका लगने की उम्मीद है.

    -अनुसयाबाई ठाकरे लाभार्थी, यवतमाल