मुंबई. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने शनिवार को 2,000 रुपये के नोट बदलने की तारीख बढ़ा दी है। अब दो हजार के नोट 7 अक्टूबर तक बदले जा सकेंगे। इसके बाद यह नोट चलन से बंद हो जाएगी और यह सिर्फ कागज का एक और टुकड़ा मात्र रह जाएगा।
बता दें कि दो हजार के नोट बदलने की आज अंतिम आखिरी तारीख थी।
भारतीय रिजर्व बैंक ने अपने बयान में कहा, “चूंकि निकासी प्रक्रिया के लिए निर्दिष्ट अवधि समाप्त हो गई है। एक समीक्षा के आधार पर, 2000 रुपये के बैंक नोटों को जमा/विनिमय करने की वर्तमान व्यवस्था को 07 अक्टूबर, 2023 तक बढ़ाने का निर्णय लिया गया है।”
As the period specified for the withdrawal process has come to an end, and based on a review, it has been decided to extend the current arrangement for the deposit/exchange of Rs 2000 banknotes until October 07, 2023: Reserve Bank of India pic.twitter.com/ovDz0aCjrm
— ANI (@ANI) September 30, 2023
2000 रुपये के नोट ऐसे बदलें
- 30 सितंबर तक 2,000 रुपये के नोट RBI के 19 क्षेत्रीय ब्रांचो या किसी भी नजदीकी बैंक शाखा में बदले जा सकते हैं।
- अपने नजदीकी बैंक या RBI के किसी भी क्षेत्रीय कार्यालय में जाएं।बंद किए गए नोटों को बदलने या जमा करने के लिए ‘अनुरोध पर्ची’ भरना होगा।
- आधार, ड्राइविंग लाइसेंस, मतदाता पहचान पत्र, पासपोर्ट, या नरेगा कार्ड जैसे दस्तावेज पर अंकित अपने विशिष्ट पहचान संख्या सहित डिटेल्स भरना होगा।
- आप 2000 रुपये के कितने नोट जमा करेंगे, इसका भी डिटेल्स भरें।
- ध्यान देने योग्य बात है कि एक समय में अधिक से अधिक 20000 रुपये मूल्य के 2000 रुपये के नोट बदले जा सकते हैं।
96% नोट बैंकों में वापस आए
- RBI की लेटेस्ट रिपोर्ट के मुताबिक अब तक करीब 96 प्रतिशत करेंसी नोट बैंकिंग प्रणाली में वापस आ चुके हैं। अब सिर्फ 0.14 लाख करोड़ रूपये के नोट मार्केट में है।
- बैंकों से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, 31 अगस्त, 2023 तक प्रचलन से वापस आए 2000 रुपये के बैंक नोटों का कुल मूल्य 3.32 लाख करोड़ रुपये था।
RBI ने 2000 के नोट को बंद करने का फैसला क्यों लिया
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) अधिनियम, 1934 की धारा 24 (1) के तहत नवंबर 2016 में 2000 रुपये मूल्यवर्ग के नोट पेश किए गए थे। ऐसा उस समय प्रचलन में मौजूद सभी 500 और 1000 रुपये बैंक नोटों की कानूनी मुद्रा की स्थिति को वापस लेने के बाद अर्थव्यवस्था की मुद्रा आवश्यकता को तेजी से पूरा करने के लिए किया गया था।
राज्य मंत्री पंकज चौधरी के मुताबिक, नोटों को पेश करने का उद्देश्य तब पूरा हो गया जब अन्य मूल्यवर्ग के बैंक नोट पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हो गए। उन्होंने कहा, ‘इसे देखते हुए और आरबीआई की ‘स्वच्छ नोट नीति’ के तहत नोटों को वापस लेने का फैसला किया गया है।