नई दिल्ली/मुंबई. महाराष्ट्र (Maharashtra) के पूर्व CM देवेंद्र फडणवीस (Devendra Fadnavis) ने का कहना है कि वे ‘अखंड भारत’ में पूरी तरह अपना विश्वास रखते हैं। यहाँ तक की उन्होंने यह विचार भी प्रकट किया है कि, एक दिन पाकिस्तान का कराची (Karachi) भी भारत (India) का हिस्सा होगा।
क्या थी घटना:
दरअसल वह मुंबई में घटित एक घटना पर अपने विचार रख रहे थे जिसमे एक शिवसेना कार्यकर्ता ने बलपूर्वक मिठाई की एक दुकान के नाम से ‘कराची’ हटाने को कहा क्योंकि वह पाकिस्तानी के शहर की पहचान करता है। इस कार्यकर्ता ने बांद्रा में ‘कराची स्वीट्स’ के मालिक से कहा कि वह कोई ऐसा नाम रखे जो भारतीय या मराठी या इनसे मेल रखता हो।
Mumbai: Video of Shiv Sena leader Nitin Nandgaokar goes viral, where he’s allegedly asking Karachi Sweets shop owner in Bandra West to change the name ‘Karachi’.
“You have to do it, we’re giving you time. Change ‘Karachi’ to something in Marathi,” says Nitin Nandgaokar in video. pic.twitter.com/PfmM4B65ac
— ANI (@ANI) November 19, 2020
Mr @rautsanjay61 @SaamanaOnline tweet .@AUThackeray #NitinNandgaonkar
Part 1/2 video uploaded by @NitinNandgaonk3 on #Facebook.https://t.co/Is1MSeIojF pic.twitter.com/EdgTKU0CZh— Stinger Bee #NyayForIndia (@joerave) November 19, 2020
घटना से शिवसेना ने झाड़ा पल्ला:
हालाँकि अपने ही कार्यकर्त्ता के इस हरकत पर राजनीति होने से शिवसेना और इसके के कद्दावर नेता और पटी प्रवक्ता संजय राउत इत्तेफ़ाक नहीं रखते हैं। उनका कहना है कि, “कराची स्वीट्स और कराची बेकरी मुंबई में 60 साल से अपना व्यवसाय कर रही है। उनका पाकिस्तान से कोई लेना-देना भी नहीं है। अब उनसे नाम बदलने को कहने का कोई मतलब ही नहीं आता है।।। यह शिवसेना का आधिकारिक स्टैंड बिलकुल भी नहीं है।”
RSS और BJP कई बार दे चुके ‘अखंड भारत’ पर बयान:
गौरतलब है कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और बीजेपी के कई बड़े नेता इस घटना के पहले भी ‘अखंड भारत’ को लेकर अपने विचार देते रहे हैं। पता हो कि अल जजीरा से एक इंटरव्यू में RSS के राम माधव ने कहा था कि “RSS मानता है कि एक दिन भारत, पाकिस्तान और बांग्लादेश जो महज कुछ दशक पहले ही अलग हुए हैं, वे फिर से हमारे साथ आएंगे और अखंड भारत बनेगा।”
वहीं मार्च 2019 में RSS के ही इंद्रेश कुमार का कहना था कि था कि भारत और पाकिस्तान आने वाले 2025 तक एक हो जाएंगे और भारतीय फिर लाहौर में जाकर बसेंगे। वहीं बीजेपी के कद्दावर नेता और पूर्व उप प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी भी यूरोपियन यूनियन की तर्ज पर भारत और पाकिस्तान के एक साझा संगठन की वकालत कर चुके हैं। शिवसेना भी वैसे ‘अखंड भारत’ पर हमेशा से ही मुखर रही है। खासतौर से उसने अनुच्छेद 370 हटने के बाद पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर को भारत में मिलाने की वकालत भी अपने तरफ से की थी।