Nagpur Bus Stand, Ganeshpeth, Nagpur
गणेशपेठ बस स्टैंड पर बम

  • कोरोना के नियमों की उड़ रही धज्जियां
  • मास्क नहीं पहन रहे लोग

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नागपुर. जिले में कोरोना संक्रमण का ग्राफ तेजी से बढ़ रहा है. इसके बाद भी लापरवाही जारी है. रोडवेज स्टैंड और बसों में कोविड-19 नियमों का पालन नहीं हो रहा है. यहां न लोगों को मास्क पहनने की फिक्र है और न ही सामाजिक दूरी का ख्याल. इसमें यात्रियों के साथ-साथ चालक व परिचालक भी पीछे नहीं हैं. जिससे कोरोना का ग्राफ बढ़ने का खतरा बना हुआ है. एसटी बस स्टैंड पर कोरोना संक्रमण के पांव पसारने का खतरा बढ़ गया है. यहां पर यात्रियों की भीड़ अब उमड़नी शुरू हो गई है.

यात्री शारीरिक दूरी के नियम का पालन नहीं कर रहे हैं. बसों में बिना मास्क के ही यात्रा कर रहे हैं. इससे दिक्कतें भी लगातार बढ़ती जा रही हैं. वहीं, कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच एसटी मैनेजमेंट भी सैनिटाइजेशन पर ध्यान देना कम कर दिया है. बसों को नाम मात्र का सैनिटाइज किया जा रहा है. कई बसें बिना सैनिटाइज के सड़कों पर दौड़ रही हैं. इससे कोरोना के केस और बढ़ने की संभावना जताई जा रही है. एसटी मैनेजमेंट को यात्रियों के साथ शहरवासियों की सुरक्षा के लिए बस स्टैंड पर यात्रियों की थर्मल स्क्रीनिंग और सैनिटाइजेशन अनिवार्य करना चाहिए.

शुरू में हुई थी कड़ाई, अब लापरवाही

यात्री भी बसों में बिना मास्क लगाए यात्रा करते नजर आ रहे हैं. अनलॉक वन में जब बसों का संचालन शुरू हुआ तो तमाम तरह की गाइड लाइन राज्य परिवहन निगम की ओर से जारी हुई. जिसमें मास्क लगाना, यात्रियों की थर्मल स्क्रीनिंग, सैनिटाइजेशन के बाद बसों में प्रवेश आदि अनिवार्य किया गया था. शुरू में तो गाइडलाइन का पालन परिवहन निगम के जिम्मेदारों ने कराया, लेकिन ये चीजें बदल गई हैं. अब बस स्टैंड पर लापरवाही साफ देखी जा सकती है.

सुरक्षा के साथ खिलवाड़

कोरोना से सुरक्षा की बजाय खिलवाड़ किया जा रहा है. लोगों ने एसटी मैनेजमेंट के इस रुख पर भी नाराजगी व्यक्त की है. उनका कहना है कि जब दूसरे राज्यों से लोग यहां पर आ रहे हैं तो उनकी थर्मल स्क्रीनिंग क्यों नहीं की जा रही है. शहर के अंदर आने से पहले उनकी स्क्रीनिंग भी होनी चाहिए. जो संदिग्ध दिखे उसे वहीं से जांच के लिए अस्पताल भेजा जाए. वहीं, अंतरराज्यीय रूटों से आ रहे यात्रियों की भी बसें भी स्टैंड पर थर्मल स्क्रीनिंग नहीं हो रही है.

किसी भी गेट पर सैनिटाइजर नहीं

बस स्टैंड के दोनों मुख्यद्वार पर बिना थर्मल स्क्रीनिंग और सैनिटाइज के यात्री प्रवेश कर रहे हैं. यहां पर पुलिस बल व स्वास्थ्य विभाग की टीम भी नहीं है. हालांकि इससे पूर्व बसों को सुबह व शाम सैनिटाइज किया जाता था. लेकिन अब इस व्यवस्था को देखने वाला भी कोई नहीं है. यहां पर लोग शारीरिक दूरी के नियम का पालन भी नहीं कर रहे हैं. चालक-परिचालक भी स्वयं नियमों का उल्लंघन कर रहे हैं. किसी के फेस पर सही तरीके से मास्क नहीं होता है.

जिम्मेदार नहीं कर रहे सख्ती

शहरी व ग्रामीणों क्षेत्रों के रूटों पर भी यात्री बिना मास्क के बसों में यात्रा कर रहे हैं. चालक-परिचालक भी नियमों का उल्लंघन कर रहे हैं. बसों में ढील दी जा रही है. एसटी में लॉकडाउन के बाद प्रतिदिन लोगों की भीड़ उमड़ रही है, लेकिन लोग बिना मास्क के बस स्टैंड पर घूमते नजर आ रहे हैं. पुलिस व प्रशासन द्वारा भी सख्ती नहीं बरती जा रही है. चालान की प्रक्रिया भी शून्य हो गई है.