भंडारा के बाद मुंबई के अस्पताल में आग

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    भंडारा के जिला अस्पताल (Bhandara Hospital Fire) में आग से नवजात शिशुओं की मौत की हृदयविदारक घटना के बाद लगा था कि अन्य अस्पताल अग्निकांड को लेकर पर्याप्त सावधानी बरतेंगे लेकिन ऐसा नहीं हुआ. मुंबई (Mumbai Hospital Fire) भांडुप इलाके में एक मॉल की तीसरी मंजिल पर बने कोविड अस्पताल में आग लगने से 11 कोरोना मरीजों की मौत हो गई.

    यह बात अपनी जगह है कि कोरोना मरीजों की तादाद लगातार बढ़ने से अस्पतालों में बेड कम पड़ रहे हैं इसलिए वैकल्पिक व्यवस्था करनी पड़ रही है लेकिन फिर भी सुरक्षा उपायों व नियमों को ताक पर रखकर कहीं भी अस्पताल खोल लेना अत्यंत गैरजिम्मेदारी पूर्ण है. स्वयं मुंबई की महापौर किशोरी पेडनेकर को पता नहीं था कि मॉल में अस्पताल चल रहा है. आग इतनी भीषण थी कि फायर ब्रिगेड की 22 गाड़ियों को आग पर काबू पाने में 14 घंटे का समय लगा.

    जिस ड्रीम मॉल में आग लगी उसमें 1000 छोटी दूकानें व 2 बैंक्वेट हाल हैं. वहां कोरोना अस्पताल खोलने के लिए गत वर्ष सशर्त ओसी दिया गया था. आग किस वजह से लगी, इसका जांच के बाद ही पता चलेगा. ऐसी घटनाओं में कुछ समय बाद मामला ठंडा पड़ जाता है. यह पता ही नहीं चलता कि किसे दोषी ठहराया गया और क्या कार्रवाई हुई. ऐसी कितनी ही दर्दनाक घटनाए हुई हैं गत वर्ष 6 अगस्त को गुजरात के कोविड अस्पताल में आग से 8 मरीजों की मौत हुई थी. इसके बाद 9 अगस्त को विजयवाडा के एक होटल में स्थित कोविड फैसिलिटी सेंटर में आग लगने से 10 लोग मरे थे. फिर 21 नवंबर को ग्वालियर के कोविड केयर सेंटर में हुए अग्निकांड में वहां दाखिल 9 मरीजों में से 2 झुलस गए थे और भगदड़ में 2 मरीजों की मौत हो गई थी. इसके उपरांत 27 नवंबर को गुजरात के राजकोट जिले के कोविड अस्पताल में आग लगने से 5 कोरोना मरीजों की जलकर मृत्यु हो गई थी. ऐसे मामलों का होना असहनीय है. अधिकतम सावधानी रखते हुए ऐसे उपाय किए जाएं कि भविष्य में ऐसे हादसे न होने पाए. ऐसे प्रकरणों की जांचकर दोषियों को सजा दी जाए.

    भंडारा हादसे में 10 मासूम शिशुओं की मौत के बाद मुख्यमंत्री ने सभी अस्पतालों का फायर आडिट करने और अग्नि सुरक्षा व्यवस्था स्थापित करने का आदेश दिया था लेकिन प्रशासन ने इससे कोई सबक नहीं लिया और निधि की कमी की आड़ में सीएम के आदेश को भी लागू नहीं किया. राज्य के एक भी अस्पताल में यह व्यवस्था नहीं है जो कि तत्काल युद्धस्तर पर होनी चाहिए.