Dr. Amol Kolhe
अमोल कोल्हे (फाइल फोटो)

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    पिंपरी : राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (Nationalist Congress Party) ने अपने आधिकारिक ट्विटर अकाउंट पर गुजरात विधानसभा चुनाव (Gujarat Assembly Election) के लिए पार्टी के स्टार प्रचारकों (Star Campaigners) की सूची जारी की है। इसमें शिरूर लोकसभा क्षेत्र के सांसद डॉ. अमोल कोल्हे (MP Dr. Amol Kolhe) का नाम शामिल नहीं हैं। ऐसे में एक बार फिर सांसद की नाराजगी की चर्चा शुरू हो गई है। इससे पहले शिर्डी में हुए पार्टी के मंथन शिविर में भी वे नदारद थे। 

    गुजरात में विधानसभा चुनाव की जंग शुरू हो गई है। इसी पृष्ठभूमि में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी ने स्टार प्रचारकों की सूची की घोषणा की है। इसमें पार्टी अध्यक्ष शरद पवार, अजित पवार, सुप्रिया सुले, जितेंद्र अवध, जयंत पाटिल, छगन भुजबल, फौजिया खान समेत 31 लोगों को शामिल किया गया है। हालांकि पार्टी के स्टार प्रचारकों में शुमार रहे सांसद डॉ. अमोल कोल्हे का इस लिस्ट में कहीं जिक्र नहीं है। 2019 में सांसद अमोल कोल्हे ने शिवस्वराज्य यात्रा निकालकर करीब 100 चुनाव क्षेत्रों का दौरा किया था। इसके अलावा, उनकी भाषण शैली से लोगों का राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के लिए समर्थन भी बढ़ता जा रहा है। लिहाजा उनकी गिनती पार्टी के के स्टार प्रचारकों में होती थी। हालांकि अब जब उनका नाम स्टार प्रमोटर्स की लिस्ट से हटा दिया गया है तो डॉ. कोल्हे की नाराजगी की चर्चा फिर से शुरू हो गई है।

    स्टार प्रचारकों की सूची से नाम बाहर होने से सियासी माहौल गरमा गया 

    राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में सही बर्ताव नहीं मिलने पर डॉ. कोल्हे के खफा होने की चर्चा शिरूर लोकसभा क्षेत्र में कुछ दिनों से चल रही है। इसके अलावा, शिर्डी में पार्टी की एक विचार-मंथन बैठक हुई। वह उसमें भी मौजूद नहीं थे, इसलिए नाराजगी की चर्चाएं जोरों में चल रही थीं। हालांकि अब डॉ. कोल्हे का नाम राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के स्टार प्रचारकों की सूची से बाहर होने से सियासी माहौल गरमा गया है। पिछले कुछ दिनों से शिरूर लोकसभा क्षेत्र के सांसद अमोल कोल्हे के बीजेपी में शामिल होने की चर्चा है। उनकी बॉडी लैंग्वेज से भी यही संकेत मिल रहा है। राजनीतिक स्थिति भी उसी तरह विकसित होने लगी है। 

    राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं में आक्रोश

    बीजेपी ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में अंदरूनी कलह से तंग आ चुके सांसदों को पुचकारना शुरू कर दिया है। सांसद डॉ. अमोल कोल्हे और शिवाजीराव अधराव-पाटिल की दुश्मनी जगजाहिर है। जैसे ही आगामी चुनावों की हवा चलनी शुरू हुई है, आढलराव-पाटिल ने अभी से तैयारी शुरू कर दी है। विधानसभा क्षेत्र में विभिन्न मुद्दों को हल करने के साथ ही विविध कार्यक्रम भी आयोजित किए जा रहे हैं। उसमें राज्य में सत्ता परिवर्तन आढलराव पाटिल के लिए लाभदायक साबित हुआ है। क्योंकि वे सीधे शिव बंधन हटाकर शिंदे गुट में शामिल हो गए हैं। जिन परियोजनाओं को गति नहीं मिली है, उन्हें गति देने के लिए उन्होंने प्रयास शुरू कर दिया है। दूसरी ओर डॉ. कोल्हे के निर्वाचन क्षेत्र में नहीं आने से लोगों खासकर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं में आक्रोश है। कोल्हे के पोडेवाडी गांव के विकास कार्यों के उद्घाटन के कुछ दिन पहले गैरहाजिर रहने पर पूर्व सरपंच अनिल वालुंज ने सोशल मीडिया पर नाराजगी जाहिर की थी।