किसानों को बेहतर प्रतिसाद, बिजली बिल के बकाया से मुक्त 3 लाख से अधिक किसान

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    औरंगाबाद. राज्य के उर्जा मंत्री (State Energy Minister) डॉ. नितिन राउत (Dr. Nitin Raut) की संकल्पना से कृषि पंप बिजली नीति-2020 (Agricultural Pump Electricity Policy-2020) को आए दिन प्रतिसाद बड़े पैमाने पर मिल  रहा है।  इस नीति के अनुसार बिजली बिल की कुल बकाया में करीब 66 प्रतिशत तक माफी  देनेवाले इस  योजना से राज्य के 3 लाख 14 हजार 255 किसान बकाया बिजली (Outstanding Electricity) की राशि से मुक्त हुए है। वहीं और 12 लाख 74 हजार 192 किसान  बकाया मुक्ति की कतार में  है। महावितरण (Mahavitaran)के अध्यक्ष और व्यवस्थापकीय संचालक (Chairman and Administrative Director) विजय सिंघल (Vijay Singhal) ने इस नीति को अंजाम देना के लिए अधिक  प्राथमिकता देंने से बिजली बिल की राशि की बकाया मुक्ति के लिए पहली बार राज्य के  किसान बड़ी संख्या में आगे आ रहे है। 

    महावितरण के औरंगाबाद परिमंडल के जनसंपर्क अधिकारी ज्ञानेश्वर आर्दड ने बताया कि गत मार्च माह से महावितरण ने कृषि पंप बिजली नीति-2020 को अंजाम देने की शुरुआत की है।  इसमें राज्य के 44 लाख 43 हजार 247 किसानों को कृषि पंप के बिजली बिल से बकाया मुक्त होने के अवसर उपलब्ध है। उनकी ओर कुल 45 हजार 779 करोड़ 26 लाख रुपए बकाया है। परंतु, रिकॉर्ड के लिए  महावितरण की ओर से मिली हुई छुट और  देरी का आकार और ब्याज की छुट ऐसे कुल 15 हजार  949 करोड़  90  लाख रुपए की छुट किसानों को दी गई। इस नीति के अनुसार कुल बकाया यानी 30 हजार 684 करोड़ 37 लाख रुपए में से 59 प्रतिशत रकम आगामी 31 मार्च 2022  तक भरने पर बकाया की बची हुई 50 प्रतिशत रकम भी माफ होगी। 

    पीआरओ आर्दड ने बताया कि राज्य के 3 लाख 14 हजार 255 किसानों ने 50 प्रतिशत बकाया और चालूू बिजली बिल अदा कर बिजली बिल से बकाया राशि से  मुक्त हुए है।  इन किसानों की ओर इस  नीति के अनुसार 899 करोड़ 89 लाख रुपए की बकाया है।  इसमें चालू बिजली बिल और 50 प्रतिशत बकाया  ऐसे कुल 584 करोड़ 70 लाख की रकम किसानों ने अदा की है।  जिससे बकाया 449 करोड़ 93 लाख रुपए की बकाया राशि माफ हुई है। राज्य में सबसे अधिक पुणे प्रादेशिक विभाग में 1 लाख 64 हजार 813, कोकण में 89 हजार 422, नागपुर में 45 हजार 752, औरंगाबाद विभाग में 14 हजार 268 किसान बिजली बिल की  बकाया  राशि से पूरी तरह मुक्त होने की जानकारी पीआरओ ज्ञानेश्वर  आर्दड ने दी।