Byju

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नई दिल्ली. वित्तीय संकट से गुजर रहा शिक्षा-प्रौद्योगिकी मंच बायजू (Byju’s) अगले साल मार्च तक कंपनी परिचालन के वित्तपोषण के लिए 600-700 करोड़ रुपये का कर्ज जुटाने की प्रक्रिया में है। सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी। इस बीच, कंपनी के संस्थापक बायजू रवींद्रन (Byju Raveendran) ने हाल ही में वेतन का भुगतान करने के लिए अपने परिवार के सदस्यों के स्वामित्व वाले घर और अचल संपत्तियों को गिरवी रखकर धन जुटाया है।

घटनाक्रम से परिचित सूत्रों ने कहा कि बायजू को मार्च, 2023 तक एपिक और अन्य सहायक कंपनियों में अपनी हिस्सेदारी की आंशिक बिक्री से भी वित्त जुटाने की उम्मीद है। एक सूत्र ने कहा, “कंपनी के परिचालन खर्चों में प्रति माह लगभग 50 करोड़ रुपये का अंतर है, जिसमें एक बड़ा घटक वेतन है। प्रवर्तकों ने इस अंतर को दूर करने के लिए परिवार के सदस्यों के शेयर, घर और कुछ अन्य अचल संपत्तियां गिरवी रखी हैं।”

एक सूत्र ने कहा, “प्रवर्तक मार्च तक परिचालन में मदद के लिए 600-700 करोड़ रुपये का कर्ज जुटाने की प्रक्रिया में हैं। उस समय तक एपिक और कुछ अन्य सहायक कंपनियों में आंशिक हिस्सेदारी की बिक्री से हालात थोड़े सहज हो जाएंगे।” एक अन्य सूत्र ने कहा कि बायजू ने 20 दिसंबर को वार्षिक आम बैठक (एजीएम) बुलाई है। उसमें प्रवर्तकों द्वारा गिरवी रखी गई संपत्तियों को कंपनी के बोर्ड के ध्यान में लाया जाएगा। इस बैठक में वित्त वर्ष 2021-22 के वित्तीय नतीजों को भी शेयरधारकों के समक्ष रखा जाएगा।

एक सूत्र ने कहा कि कंपनी 160 करोड़ रुपये के प्रायोजन बकाया के लिए भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) को पुनर्भुगतान कार्यक्रम पेश करने की प्रक्रिया में है। एपिक की बिक्री उन्नत चरण में पहुंच चुकी है। इसके अलावा मौजूदा निवेशकों से भी नए फंड डालने की उम्मीद की जाती है। हालांकि इस संबंध में टिप्पणी के लिए बायजू को भेजे गए ईमेल का कोई जवाब नहीं मिला। पिछले महीने मणिपाल एजुकेशन एंड मेडिकल ग्रुप के चेयरमैन रंजन पई ने बायजू द्वारा डेविडसन केम्पनर से जुटाए गए 1,400 करोड़ रुपये के कर्ज का अधिग्रहण किया था। पई के स्वामित्व वाला फंड आरिन कैपिटल बायजू में 2013 में पहला संस्थागत निवेशक था। (एजेंसी)