
नई दिल्ली: एनएसई के पूर्व प्रबंध निदेशक चित्रा रामकृष्ण (Chitra Ramkrishna) की मुश्किलें और बढ़ती जा रही है। अदालत ने सोमवार को सीबीआई को एनएसई को-लोकेशन घोटाला मामले () में चित्रा रामकृष्ण की लिखावट का नमूना जमा करने की अनुमति दी है। वहीं, अदालत ने उनकी न्यायिक हिरासत को भी 11 अप्रैल, 2022 तक बढ़ा दिया है।
बता दें कि, सीबीआई न्यायाधीश संजीव अग्रवाल ने सोमवार को सीबीआई को जांच के उद्देश्य से न्यायिक हिरासत के दौरान लिखावट का नमूना एकत्र करने की अनुमति दी। चित्र की न्यायिक हिरासत ख़त्म हो रही थी, जिसके लिए उन्हें अदालत के सामने पेश किया गया।
सीबीआई के अभियोजक ने सोमवार को कहा कि, जांच इस समय बहुत महत्वपूर्ण चरण में है और हम मामले में कई डिजिटल सबूतों की जांच कर रहे हैं। पिछले हफ्ते इसी अदालत ने चित्रा रामकृष्ण की जमानत याचिका पर जांच एजेंसी से दो सप्ताह के भीतर जवाब मांगा था।
सीबीआई ने एनएसई को-लोकेशन मामले में कहा कि, जांच में आरोप लगाया गया है कि आपराधिक साजिश के तहत आरोपी चित्रा रामकृष्ण ने अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग करते हुए एनआरसी और बोर्ड के ध्यान में लाए बिना आरोपी आनंद सुब्रमण्यम के पद को 1 अप्रैल, 2015 से समूह संचालन अधिकारी और एमडी के सलाहकार के रूप में फिर से नामित किया।