Jaya Bachchan

    Loading

    नयी दिल्ली. समाजवादी पार्टी (सपा) की सदस्य जया बच्चन सोमवार को राज्यसभा में अपने खिलाफ एक “निजी टिप्पणी” से इतनी आहत हुईं कि उन्होंने सत्ताधारी दल के सदस्यों को अभिशाप दे दिया कि जल्द ही उनके “बुरे दिन” आने वाले हैं। आक्रोशित बच्चन ने आसन से कहा कि उन्हें निष्पक्ष होना चाहिए। उन्होंने विपक्ष की आवाज को दबाए जाने का आरोप भी लगाया। स्वापक औषधि एवं मन: प्रभावी पदार्थ (संशोधन) विधेयक पर चर्चा में हिस्सा लेते हुए बच्चन ने 12 विपक्षी सदस्यों के निलंबन का मुद्दा उठाना चाहा और आसन पर बैठे पीठासीन अध्यक्ष भुवनेश्वर कालिता का नाम लिये बिना उनके बारे में कोई परोक्ष टिप्पणी की। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सदस्य राकेश सिन्हा ने व्यवस्था का प्रश्न उठाते हुए इस पर आपत्ति जताई।

    सिन्हा ने कहा कि जया बच्चन की टिप्पणी आसन पर सवाल उठाने वाली है। इस पर पीठासीन अध्यक्ष ने कहा कि वह रिकार्ड देखकर निर्णय करेंगे। हालांकि इसके बावजूद बच्चन अपनी बात रखती रहीं। उन्होंने कहा कि ऐसे समय में जब देश में कई सारे गंभीर मुद्दे हैं, सदन ने एक ‘‘लिपिकीय गलती” को दुरुस्त करने के लिए तीन-चार घंटे चर्चा का समय आवंटित किया है। हंगामे के बीच ही उन्होंने आरोप लगाया कि उनके खिलाफ किसी सदस्य ने निजी टिप्पणी की है और इस मुद्दे पर उन्होंने आसन का संरक्षण मांगा। बच्चन ने कहा, ‘‘वह कैसे सदन में निजी टिप्पणी कर सकते हैं…आप लोगों के बुरे दिन आएंगे…मै अभिशाप देती हूं।”

    हालांकि बच्चन पर क्या निजी टिप्पणी की गई थी यह हंगामे की वजह से नहीं सुना जा सका। उत्तर प्रदेश में अगले साल की शुरुआत में विधानसभा चुनाव होने हैं और भाजपा तथा समाजवादी पार्टी के नेतागण एक-दूसरे पर हमले कर रहे हैं। उल्लेखनीय है कि आज ही उनकी पुत्रवधू और अभिनेत्री ऐश्वर्या राय बच्चन 2016 के ‘पनामा पेपर्स’ लीक प्रकरण से जुड़े एक मामले में पूछताछ के लिए प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष पेश हुईं।

    आधिकारिक सूत्रों के अनुसार ऐश्वर्या राय बच्चन से विदेशी मुद्रा प्रबंधन कानून (फेमा) के प्रावधानों के तहत पूछताछ की गयी। समाजवादी पार्टी ने केंद्र पर राजनीतिक द्वेष के कारण उसके नेताओं को निशाना बनाने का आरोप लगाया है। वहीं भाजपा ने इस आरोप से इनकार किया है। पीठासीन अध्यक्ष कालिता ने जया बच्चन से बार-बार आग्रह किया कि वह विधेयक के बारे में अपनी बात रखें। इसके जवाब में सपा सदस्य ने कहा कि विपक्षी सदस्यों की आवाज दबाने की कोशिश की जा रही है।

    कालिता ने कहा कि आसन रिकॉर्ड पर गौर करेंगे और यदि कोई असंसदीय टिप्पणी होगी तो उसे हटा दिया जाएगा। इस बीच आसन ने अगले सदस्य को विधेयक पर बोलने के लिए कहा। लेकिन सदन में लगातार हंगामा होने के कारण सदन को करीब 30 मिनट के लिए स्थगित कर दिया गया। (एजेंसी)