सरयू राय: मुख्यमंत्री रघुवर दास के पाप, मोदी डिटर्जेंट से भी नहीं धूल पाएंगे

जमशेदपुर, झारखण्ड में चुनावी दंगल अपने पुरे उफान पर है. कल दूसरे चरण के चुनाव के लिए नामांकन के अंतिम दिन सोमवार को जमशेदपुर पूर्वी से सीएम रघुवर दास व भाजपा के बागी सरयू राय ने नामांकान दाखिल किया.

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जमशेदपुर, झारखण्ड में चुनावी दंगल अपने पुरे उफान पर है. कल दूसरे चरण के चुनाव के लिए नामांकन के अंतिम दिन सोमवार को जमशेदपुर पूर्वी से सीएम रघुवर दास व भाजपा के बागी सरयू राय ने नामांकान दाखिल किया. इससे पहले सरयू राय ने कहा कि रघुवर दास के खिलाफ भ्रष्टाचार के मेरे पास लिखित में सूबूत हैं, उन्हें समय आने पर जनता के सामने रखूंगा. उन्होंने ये भी कहा बहुमार की सरकार पर जो ‘रघुवर दाग’ लगा है, वह अब मोदी डिटर्जेंट से भी नहीं धूल और न ही अमित शाह की लाउंड्री उसे मिटा पाएगी.

विदित हो कि विधानसभा चुनाव का टिकट न मिलने से नाराज भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री सरयू राय ने पार्टी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. उन्होंने ये भी स्पष्ट किया कि रघुवर सरकार में संयुक्त बिहार के समय, सरयू राय का दावा है कि उनके पास इसके लिखित सबूत हैं, जिन्हें समय आने पर जनता के सामने रखा जाएगा. उन्होंने जोर देकर कहा कि वह राज्य को लुटेरे के हाथ मे नहीं जाने देंगे. एक तरफ मोदी जी बोलते हैं कि भ्रष्टाचार खत्म करो और जब मैं बोलता हूं कि कोड़ा के रास्ते पर मत चलो तो गलत हो जाता हूं. उन्होंने कहा कि भष्टाचारी मुख्यमंत्री के परिवार ने पुरे राज्य में भय का माहौल बना रखा है.

श्री राय ने कहा की मुख्यमंत्री रघुवर दास व्यर्थ ही उन्हें बदनाम कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री दास को कानून की कोई समझ नहीं है. उलटे वे सीएनटी एक्ट को बदनाम कर रहे हैं. दिल्ली में भी ऐसी ही व्यवस्था की गयी थी. पहले से ही वहां काश्तकार किसानों की जमीन थी, जिसे डीडीए ने अधिग्रहण किया उसे मालिकाना हक दिया जा रहा है. जमशेदपुर में भी टाटा लीज से जमीन अलग की गई तो उसे सरकार ने अधिग्रहण कर लिया. फिर दोनों में क्या अंतर है? यह उनकी समझ के परे है. उन्होंने कहा कि जनता से छल नहीं करना चाहिए, उसे बेवकूफ नहीं बनाना चाहिये. 

उनका मानना है कि भाजपा द्वारा उन्हें टिकट नहीं देने की एक वजह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ उनकी नजदीकी हो सकती है. लेकिन ये भी सत्य है कि नीतीश ने 2017 में एक बार फिर भाजपा से हाथ मिलाकर बिहार में राजग सरकार का गठन किया था.उन्होंने कहा कि मेरी पुस्तक गैर-राजनीतिक विषय पर थी और नीतीश कुमार से इसका विमोचन कराना कोई अपराध नहीं है. विदित हो कि सरयू राय ने झारखंड के मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था, जिसके बाद उन्होंने जमशेदपुर (पूर्व) सीट से मुख्यमंत्री रघुबर दास के खिलाफ चुनाव मैदान में उतरने का फैसला किया। रॉय ने दावा किया कि जद(यू) के साथ-साथ झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने चुनाव में उन्हें समर्थन देने का वादा किया है.