Mahashivratri 2024, Lifestyle News
महाशिवरात्रि 2024 (डिजाइन फोटो)

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नवभारत लाइफस्टाइल डेस्क: जैसा कि, हम जानते है हर साल की तरह मनाया जाने वाला भगवान शिव की भक्ति का त्योहार महाशिवरात्रि 2024 (Mahashivratri 2024) 8 मार्च को मनाया जाने वाला है। इस दिन को लेकर शिवभक्तों में भोले बाबा (Lord Shiva) की भक्ति का जोश नजर आ रहा है तो वहीं पर पूजा और नियम को ध्यान में रख रहे है। एक लोटा जल चढ़ाने से भगवान शिव प्रसन्न हो जाते है वैसे ही आपने सोचा आखिर शिवलिंग पर नारियल पानी चढ़ाया जाता है क्या। ज्योतिष में इसे लेकर बात कही गई है जिनके अनुसार कई चीजों को चढ़ाने को लेकर इसके अलग फायदे और नुकसान होते है। आइए जानते बै

क्या नारियल पानी चढ़ाना होता हैं सही

ज्योतिर्विद पंडित रमेश भोजराज द्विवेदी जी के अनुसार, “नारियल पानी, शिवलिंग पर चढ़ाने की गलती भूलकर भी नहीं करना चाहिए। यहां पर प्रत्येक ग्रह विशिष्ट तत्वों और ऊर्जाओं से जुड़ाव रखता है। चंद्रमा मन, भावनाओं और तरल पदार्थों से जुड़ा हुआ है।

Coconut Water, Mahashivratri 2024

                                                                                          महाशिवरात्रि 2024 (सोशल मीडिया)

ऐसा माना जाता है कि नारियल पानी एक साफ और ठंडा तरल है, जो चंद्रमा की ऊर्जा से प्रभावित होता है। इसलिए मान्यता है कि, भगवान शिव, जिन्हें परिवर्तनकारी पहलुओं से जोड़ा जाता है उन्हें नारियल पानी चढ़ाने से उनकी पूजा के दौरान ऊर्जा का संतुलन बिगड़ सकता है। इन कारण की वजह से शिवलिंग पर पानी चढ़ाना वर्जित होता है। 

क्यों है समुद्र मंथन से नारियल का संबंध

यहां पर नारियल का महत्व पूजा स्थल पर खास माना जाता है इसके बिना किसी प्रकार की पूजा सफल नहीं होती है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, नारियल को  माता लक्ष्मी का ही स्वरूप माना जाता है और माता लक्ष्मी भगवान विष्णु की अर्धांगिनी हैं। इसी वजह से विष्णु पूजन में नारियल को विशेष स्थान मिला है और शिव पूजन में नारियल अर्पित करना मना होता है।

कहा ये भी जाता है कि नारियल का अवतरण समुद्र मंथन से हुआ है और नारियल के भीतर जो पानी है उसका असल स्वरूप खारा है। यहां पर खारे पानी को कभी भी शिवलिंग पर नहीं चढ़ाते है इसलिए नारियल पानी को भूलकर भी शिवलिंग पर ना चढ़ाएं अन्यथा परिणाम बुरे भुगतने पड़ेंगे।