नागपुर. सीताबर्डी और एमआईडीसी थाना क्षेत्र से लापता हुई 2 किशोरियों को क्राइम ब्रांच के एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट(एएचटीयू) ने मध्य प्रदेश में ढूंढ निकाला. एमआईडीसी थाना क्षेत्र में रहने वाली 15 वर्षीय किशोरी 3 वर्ष पहले अपने घर से लापता हो गई थी. परिजनों की शिकायत पर और सुप्रीम कोर्ट के निर्देशानुसार पुलिस ने अपहरण का मामला दर्ज किया. एमआईडीसी पुलिस किशोरी को ढूंढने में नाकाम रही. इसीलिए यह मामला एएचटीयू को सौंपा गया.
पुलिस को जानकारी मिली कि वह परिसर में रहने वाले एक युवक के साथ गई है. उसका मोबाइल नंबर हासिल कर पुलिस लगातार निगरानी कर रही थी. कुछ दिन पहले युवक का फोन शुरू हुआ तो लोकेशन जबलपुर के सहजपुर इलाके में मिला. तुरंत एक टीम तैयार कर जबलपुर भेजी गई. पूछताछ में उसने आरोपी युवक के साथ विवाह करने की जानकारी दी. दोनों को 2 वर्ष का बेटा भी है. टीम दोनों को लेकर नागपुर आ गई और आगे की जांच के लिए एमआईडीसी पुलिस के हवाले कर दिया.
दूसरी घटना सीताबर्डी थाना क्षेत्र की है. 1 सप्ताह पहले परिसर में रहने वाली 15 वर्षीय किशोरी अपने घर से गायब हो गई. पुलिस ने जांच पड़ताल शुरू की. रिश्तेदारों और दोस्तों से पूछताछ में पता चला कि 17 वर्षीय किशोर से उसकी दोस्ती थी. किशोर भी अपने घर से गायब था. दोनों के मध्य प्रदेश के रीवा में होने की जानकारी सामने आई.
किशोरी का फोन शुरू होते ही पुलिस ने उससे संपर्क किया. उन्हें विश्वास में लेकर वापस नागपुर लौटने के लिए राजी किया गया. दोनों को आगे की जांच के लिए सीताबर्डी पुलिस के सुपुर्द किया गया. एपीआई रेखा संकपाल, समाधान बजबलकर, पीएसआई बलराम झाड़ोकर, एएसआई अनिल ठाकुर, हेड कांस्टेबल ज्ञानेश्वर ढोके, मनीष पराये, दीपक बिंदाने, सुनील वाकड़े, शरीफ शेख, ऋषिकेश डुमरे और आरती चौहान ने कार्रवाई को अंजाम दिया.