sanjay raut
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    नासिक : सांसद संजय राउत (MP Sanjay Raut) ने कहा, बीजेपी (BJP) की राज्य में हालत खराब होने से ही केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Union Home Minister Amit Shah) पुणे (Pune) में हो रहे उप चुनाव के प्रचार के लिए पुणे में दौरे (Tour) के लिए आ रहे है। विधान परिषद चुनाव को नतीजों को ध्यान में लेते हुए कसबा और चिंचवड इन दोनों उप चुनाव में बीजेपी की हार निश्चित है। ऐसा दावा भी उन्होंने किया। वे नासिक दौर पर आने के बाद पत्रकारों को संबोधित कर रहे थे। 

    उन्होंने आगे कहा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शहा पुणे में चुनाव का प्रचार करने के लिए आने का अर्थ यह है कि बीजेपी की राज्य में हालत खराब है। कसबा और चिंचवड इन दो चुनाव में बीजेपी की हार होगी। विधान परिषद चुनाव के नतीजों के बाद इक्का-दुक्का जगह छोड़ दे तो सभी जगह पर महाविकास आघाड़ी की जीत हुई है। हजारों शिक्षक और पदवीधर मतदाताओं ने महाविकास आघाड़ी को वोट कर बीजेपी को हार तक पहुंचाया, जिसे ध्यान में रखते हुए इन दो चुनाव में भी ऐसा ही होगा। राज्य में मुख्यमंत्री है या नहीं ऐसी स्थिति है। गुजरात की ओर से महाराष्ट्र के उद्योग पर आक्रमण हो रहा है। अब हमारे मुख्यमंत्री का विशेष प्रेम होने वाले असम के मुख्यमंत्री हमारे देव-धर्म पर आक्रमण कर रहे है। बोहरी समाज के प्रतिनिधि और उद्धव ठाकरे के मुलाकात के बारे में जानकारी देते हुए राऊत ने कहा, वह जब मुख्यमंत्री थे तब उन्हें निमंत्रण दिया गया था, लेकिन तब वह जा नहीं पाए। बोहरी समाज कई सालों से बालासाहब से जुड़ा हुआ है। इसलिए इस बारे में संदेह लेने की जरूरत नहीं है। 

    प्रधानमंत्री और सरकार से सवाल पूछने पर छापेमारी की जाती है: राउत 

    उद्योग मंत्री उदय सामंत ने कहा था कि न्यायालय में हमारे ही पक्ष में निर्णय होगा। साथ ही केंद्रीय उद्योग मंत्री नारायण राणे ने भी यह कहा था कि चिन्ह शिंदे को ही मिलेगा। कुछ दिन पहले फडणवीस ने भी निर्णय हमारे ही पक्ष में होने की बात कहीं थी। कुल मिलाकर न्याय पालिका उनके जेब में है, इस तरह बीजेपी के नेता बात कर रहे है। न्याय पालिका पर हमारा भरोसा होने से हम कुछ नहीं कहेंगे। प्रधानमंत्री और सरकार से सवाल पूछने पर छापेमारी की जाती है, यह बीबीसी कार्यालय पर की गई छापेमारी से स्पष्ट हुआ है। देश में लोकतंत्र संकट में है। अपने देश में किसी समाचार पत्र के कार्यालय पर छापेमारी होने की घटना पहले कभी नहीं हुई है। जो अपने आप में एक बड़ी बात है। राहुल गांधी और हमने सवाल पूछने के बाद राहुल गांधी को नोटिस भेजी गई। बीबीसी ने डॉक्युमेंटरी करने के बाद मुंबई, दिल्ली कार्यालय पर छापेमारी की गई। उद्यमी अडानी के कई समाचार पत्र और न्यूज चैनल है। फिर भी बीजेपी डर रही है।