हमें समर्पित आयोग मान्य नहीं, OBC मुक्ति मोर्चा करेगी जनजागृति, राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी ने कहा

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    वर्धा. स्थानीय स्वराज्य संस्था के चुनाव में ओबीसी आरक्षण रद्द किया गया है़ इसके लिए पूर्णत: आघाड़ी सरकार जिम्मेदार है़ पहले राज्य पिछड़ा प्रवर्ग आयोग व अब समर्पित आयोग तैयार किया गया़ केवल ओबीसियों की दिशाभूल की जा रही है़ हम समर्पित आयोग को नहीं मानते़  उक्ताशय के विचार ओबीसी मुक्ति मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष नितिन चौधरी ने व्यक्त किए.

    स्थानीय विश्रामगृह में आयोजित पत्रपरिषद में राज्य उपाध्यक्ष अशोक आठबैले, वर्धा जिलाध्यक्ष तुषार पेंढारकर, शेख अजीज शेख ख्वाजा, प्रशांत गहुकर, संजय नितनवरे, प्रवीण पेठे, विनोद दावडे, युवराज इंगोले सहित अन्य पदाधिकारी मौजूद थे़ चौधरी ने आगे कहा कि, स्थानिक स्वराज्य संस्था ही नहीं तो अन्य क्षेत्र में भी ओबीसी के अस्तित्व पर खतरा मंडरा रहा है. 

    लोगों में संभ्रम पैदा कर रही सरकार

    हमारे द्वारा चुने गए ओबीसी नेता कुछ नहीं कर पा रहे़ जो बात मध्यप्रदेश में संभव हो सकती है, वह हमारे यहां क्यों नहीं? समर्पित आयोग की प्रक्रिया मूर्खता की बात है़ कोर्ट ने सरकार को 12 जून तक डाटा पेश करने का एक अवसर दिया है़, परंतु हमारी सरकार केवल लोगों में संभ्रम पैदा कर रही है.

    इसी संभ्रम को दूर करने के लिए राष्ट्रीय ओबीसी मुक्ति मोर्चा ने सत्यशोधन यात्रा का 1 जून से शुभारंभ किया है़ 20 दिनों तक भ्रमण कर विदर्भ के हर जिले में ओबीसी नागरिकों में जनजागरण किया जाएगा़ यात्रा का समारोह नागपुर में होगा़ ओबीसी का राजनीतिक वर्चस्व कम करने का यह षड‍्यंत्र है़ आघाड़ी सरकार निकम्मी हैं, ऐसा भी चौधरी ने कहा़ जिलाध्यक्ष तुषार पेंढारकर ने सत्यशोधन यात्रा के उद्देश्य के बारे में बताया.