वर्धा. जिले में गुरुवार की सुबह से ही मूसलाधार बारिश शुरू है. देर शाम तक चली वर्षा से जनजीवन प्रभावित हो गया था़ नदी और नालों का जलस्तर बढ़ने से तटीय इलाकों में फिर बाढ़ का खतरा बढ़ गया है. मौसम विभाग ने जिले में येलो अलर्ट जारी कर दिया है. 7 अगस्त तक जिले में बारिश की संभावना जतायी गई है. जिले में अब तक औसतन 475.6 मिमी वर्षा दर्ज की जा चुकी है.
जिले में 26 व 27 जुलाई को हुई धुआंधार बारिश ने भारी तबाही मचाई थी. करिब 13 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में फसल का नुकसान हुआ़ 50 हेक्टेयर के करिब फसलयोग्य जमीन बह गई थी. 245 मकान व 8 तबेले क्षतिग्रस्त हो गए. 28 जुलाई से 2 अगस्त तक बारिश ने विश्रांति दी़ परंतु गुरुवार की सुबह फिर एक बार सुबह से ही रिमझिम बारिश शुरु हुई़ दोपहर के समय कुछ हिस्सों में मूसलाधार वर्षा हुई. दिनभर चली बारिश के कारण जनजीवन प्रभावित हो गया था.
नागरिकों को सतर्कता बरतने की अपील
बारिश के कारण शहर की सड़कों पर पानी भर गया़ नालियों का पानी सड़क पर बह रहा था. कई इलाकों में जलभराव की स्थिति बनी थी़ ग्रामीण अंचल में छोटे और बड़े नालो का जलस्तर बढ़ने से मार्ग के ऊपर से पानी बहने लगा. परिणामवश कुछ सड़कों पर परिवहन रुक गया था़ नदी और नाले उफान पर बहने लगे़ परिणामवश तटवर्तीय गांवों में फिर एक बार बाढ़ का खतरा बढ़ गया है़ इसे देखते हुए प्रशासन ने आपदा प्रबंधन यंत्रणा अलर्ट मोड पर रखी है़ नागरिकों को भी सतर्कता बरतने का आह्वान किया है.
अब तक 475.6 मिमी वर्षा की गई दर्ज
जिले में अब तक 475.6 मिमी बारिश हुई है़ इसमें आर्वी तहसील 397.1 मिमी, कारंजा में 455.1 मिमी, आष्टी 440.0 मिमी, वर्धा 511.2 मिमी, सेलू 458.5 मिमी, देवली 476.1 मिमी, हिंगनघाट 539.6 मिमी व समुद्रपुर तहसील में 480.1 मिमी बारिश हुई.
अतिवष्ट से सड़कों की हालत खस्ताहाल
अतिवृष्टि के कारण ग्रामीण अंचल में पहले ही सड़कें व पुल की हालत खराब हो गई है. गुरुवार की बारिश से इसमें ओर इजाफा हो गया है. कई सड़कें व पुल पुन: क्षतिग्रस्त होने से यातायात बाधित हो गया है.