पटना. बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Vidhan Sabha Election) के नतीजे आने का बाद आज LJP प्रमुख चिराग पासवान (Chiraag Paswaan) एक प्रेस कॉन्फ्रेंस (Press Conference) की हैं।
क्या कहा चिराग पासवान ने:
- चिराग पासवान ने कहा कि, बिहार की जनता ने आदरणीय PM नरेंद्र मोदी जी पर भरोसा जताया है. अब जो परिणाम आए हैं उससे यह साफ़ है की भाजपा के प्रति लोगो में खासा उत्साह है.
- चिराग पासवान ने कहा कि, “मैं नहीं चाहता नीतीश बनें मुख्यमंत्री, लेकिन अब BJP-JDU को ही यह तय करना है.
- चिराग पासवान ने कहा कि, उनकी पार्टी हर जिले में मजबूत हुई और इसका लाभ भविष्य में मिलेगा. पार्टी का वोट शेयर बढ़ा है.
- चिराग पासवान ने कहा कि, लोगों ने PM मोदी के नाम पर वोट दिया है.
Happy that Bihar gave love to LJP, around 25 Lakh voters trusted ‘Bihar First, Bihari First’ & we secured 6% votes while contesting alone. We were called ‘pichhlaggu party’ that can do something only with other’s support. We showed courage: LJP chief Chirag Paswan #BiharResults pic.twitter.com/F32xHxXHEa
— ANI (@ANI) November 11, 2020
बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Vidhan Sabha Election) के नतीजे आने का बाद आज सुबह 11 बजे LJP प्रमुख चिराग पासवान (Chiraag Paswaan) एक प्रेस कॉन्फ्रेंस (Press Conference) करने वाले हैं। इस प्रेस कांफ्रेंस में वे किस विषय में बात करने वाले हैं। यह फिलहाल एक सस्पेंस है।
क्या रहे नतीजे:
गौरतलब है कि बिहार में सत्ता विरोधी लहर और विपक्ष की कड़ी चुनौती को पार करते हुए नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के नेतृत्व वाले राजग (NDA) ने बिहार (Bihar) में बहुमत का जादुई आंकड़ा हासिल कर लिया। सत्तारूढ़ गठबंधन ने बिहार विधानसभा की 243 सीटों में से 125 सीटों पर जीत हासिल की, जबकि विपक्षी महागठबंधन ने 110 सीटें जीतीं।
कैसा रहा LJP का प्रदर्शन
इन चुनाव नतीजों के हिसाब से भले ही LJP को एक ही सीट हासिल हुई हो लेकिन उसने सत्ता में काबिज होने वाली JDU का करीब 30 सीटों का नुकसान किया है. JDU के प्रवक्ता के सी त्यागी ने नयी दिल्ली में ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि एक ‘‘साजिश” के तहत नीतीश कुमार के खिलाफ ‘‘अपमानजनक अभियान” चलाया गया। उन्होंने बगैर किसी का नाम लिए कहा, इसमें ‘‘अपने भी शामिल थे और बेगाने भी।”
LJP से JDU को हुआ नुकसान:
LJP के चिराग पासवान (Chirag Paswaan) ने अकेले चुनावी मैदान में उतरकर, ‘बिहारी स्वाभिमान’ का ऐसा सियासी दांव खेला कि CM नीतीश कुमार की सत्ता की कुर्सी के पाए जरुर हिला दिए हैं।गौरतलब है कि चिराग के मनमुताबिक सीटें न मिलने से बिहार विधानसभा चुनाव में उन्होंने NDA से जुदा अपना रास्ता चुना। इस चुनाव में LJP ने 135 सीटों पर अपने प्रत्याशी मैदान में उतारे थे। वहीं अधिकाँश प्रत्याशी ही JDU के खिलाफ दंगल में नजर आए। लेकिन इनमे से गोविदंगज, लालगंज, भागलपुर, राघोपुर, रोसड़ा और नरकटियागंज सीट जैसी सीट ऐसी थी जिस पर LJP प्रत्याशी बीजेपी के खिलाफ भी चुनाव लड़ रहे थे।
गौरतलब है कि चिराग पासवान के पिता रामविलास पासवान का राजनीतिक समय शत-प्रतिशत केंद्र में गुजरा था। जिसके चलते वे बिहार पर अपनी नजर बना के नहीं रख सके। लेकिन इस चुनाव में चिराग पासवान ने पिता के इस हाशिये को भरते दिखे और बिहार की राजनीति को गंभीरता से लेते हुए अपनी जगह बनाते हुए यहाँ के तमाम मुद्दों को उठाया। इसके साथ ही NDA में रहते हुए उन्होंने नीतीश कुमार के खिलाफ आक्रोश को कैश करने का फैसले कर लिया और फरवरी के आते आते उन्होंने बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट का कॉन्सेप्ट भी तैयार कर लिया, जिसमें बिहार के आम लोगों की जरूरतों को देखते हुए कई पहलुओं को शामिल किया गया था।इसके साथ ही चिराग, नीतीश सरकार की कार्यप्रणाली और अफसरशाही पर सवाल उठाने लगे।