Photo: @ANI Twitter
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    नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi ) ने युद्ध प्रभावित यूक्रेन की स्थिति (Russia-Ukraine War Crisis) और भारत के नागरिकों को वापस लाने के देश के प्रयासों पर चर्चा करने के लिए शनिवार शाम एक और उच्च स्तरीय बैठक जारी है। प्रधानमंत्री की इस बैठक में विदेश मंत्री एस जयशंकर, केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल, एनएसए अजीत डोभाल, विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला सहित कई अधिकारी मौजूद हैं।पीएम नरेंद्र मोदी इससे पहले भी यूक्रेन संकट पर ऐसी कई बैठकों की अध्यक्षता कर चुके हैं।  इससे पहले विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि यूक्रेन के खारकीव शहर से लगभग सभी भारतीय निकाले जा चुके है। 

    विदेश मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि, अब उसका मुख्य ध्यान यूक्रेन के पूर्वी शहर सूमी में फंसे लगभग 700 भारतीय छात्रों को निकालने पर है, जहां बम विस्फोट और हवाई हमले हो रहे हैं। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने प्रेस वार्ता में कहा कि भारत अगले कुछ घंटों में खारकीव और पिसोचिन से अपने नागरिकों को निकालने की उम्मीद करता है।   

    उन्होंने कहा, ‘‘हमारा मुख्य ध्यान अब भारतीय छात्रों को सूमी से निकालने पर है। हम उन्हें निकालने के लिए कई विकल्प तलाश रहे हैं।”रूस ने 24 फरवरी को यूक्रेन के खिलाफ सैन्य आक्रमण शुरू किया था।  

    13,300 से अधिक लोगों को लाया गया वापस

     बागची ने कहा, ‘‘यह युद्ध की स्थिति है और हमारी बुनियादी जरूरत सुरक्षित मार्ग से जुड़ी है ताकि जब छात्र परिसर से निकले तब सुरक्षित रहें। ” यूक्रेन से भारतीयों की निकासी के ‘आपरेशन गंगा’ अभियान के बारे में उन्होंने कहा कि  अब तक 63 उड़ानों में 13,300 से अधिक लोगों को वापस लाया गया है।

    अगले 24 घंटों में 13 उड़ानें की जाएंगी संचालित 

    उन्होंने कहा कि यूक्रेन संकट के बीच भारतीयों को वापस लाने के लिए अगले 24 घंटों में 13 उड़ानें संचालित की जाएंगी जिसमें से 7 बुडापेस्ट, दो कोसित्से, दो रिसेसो और दो बुखारेस्ट से उड़ान भरेगी।   प्रवक्ता ने कहा कि पिछले 24 घंटे में 15 उड़ानों से 2900 भारतीयों को वापस लाया गया है। उन्होंने यह भी बताया कि पहला परामर्श जारी होने के बाद 21 हजार भारतीय यूक्रेन से निकल आए हैं ।