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    नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने शुक्रवार को रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव (Sergey Lavrov) को अवगत कराया कि भारत यूक्रेन में संघर्ष को सुलझाने के लिए शांति प्रयासों में योगदान देने को तैयार है और जल्द से जल्द वहां हिंसा खत्म करने का आह्वान किया।

    दो दिवसीय यात्रा पर भारत आए लावरोव ने विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ व्यापक बातचीत करने के बाद प्रधानमंत्री से मुलाकात की। मोदी के साथ अपनी बैठक से पहले लावरोव ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि भारत, अंतरराष्ट्रीय समस्याओं के प्रति अपने ‘‘न्यायपूर्ण और तर्कसंगत” दृष्टिकोण के साथ, शांति प्रयासों का समर्थन कर सकता है यदि वह इस तरह की भूमिका निभाने का विकल्प चुनता है।

    प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) के एक बयान के अनुसार रूस के विदेश मंत्री ने मोदी को यूक्रेन की स्थिति समेत मॉस्को की कीव के साथ जारी शांति वार्ता के बारे में जानकारी दी। बयान में कहा गया, ‘‘प्रधानमंत्री ने हिंसा की शीघ्र समाप्ति के लिए अपने आह्वान को दोहराया और शांति प्रयासों में किसी भी तरह से योगदान करने के लिए भारत की रजामंदी से अवगत कराया।”

    यूक्रेन के विदेश मंत्री दिमित्रो कुलेबा ने बुधवार को ‘एनडीटीवी’ से कहा कि भारत रूस के साथ अपने प्रभाव का इस्तेमाल करके उसे यूक्रेन में युद्ध रोकने के लिए मना सकता है। यह पूछे जाने पर कि क्या वह प्रधानमंत्री मोदी को यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच एक संभावित मध्यस्थ के रूप में देखते हैं, कुलेबा ने कहा, ‘‘यदि प्रधानमंत्री मोदी उस भूमिका को निभाने के इच्छुक हैं तो हम उनके प्रयासों का स्वागत करेंगे।”

     लावरोव ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि भारत यदि चाहे तो भूमिका निभा सकता है और ‘‘अंतरराष्ट्रीय समस्याओं के प्रति अपने न्यायपूर्ण एवं तर्कसंगत दृष्टिकोण के साथ वह ऐसी प्रक्रिया का समर्थन कर सकता है तथा कोई भी इसके खिलाफ नहीं होगा।”  वह इस सवाल का जवाब दे रहे थे कि क्या भारत रूस और यूक्रेन के बीच संघर्ष को कम करने में मध्यस्थ की भूमिका निभा सकता है।

    रूसी विदेश मंत्री ने दोहराया कि यह नयी दिल्ली को तय करना है कि क्या वह ऐसी भूमिका देखती है जो इस वर्तमान स्थिति में समस्या का समाधान प्रदान करती है, और समानता एवं सुरक्षा प्रदान करती है। बयान में कहा गया कि रूसी विदेश मंत्री ने पिछले साल दिसंबर में आयोजित भारत-रूस द्विपक्षीय शिखर सम्मेलन के दौरान लिए गए निर्णयों की प्रगति पर भी मोदी को अद्यतन जानकारी दी। लावरोव बृहस्पतिवार शाम चीन के दो दिवसीय दौरे के बाद नयी दिल्ली पहुंचे।

     भारत कूटनीति और बातचीत के जरिए यूक्रेन संकट के समाधान के लिए दबाव बनाता रहा है। मोदी ने 24 फरवरी, दो मार्च और सात मार्च को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ फोन पर बातचीत की। प्रधानमंत्री मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति से भी दो बार बात की थी। (एजेंसी)