Tree fell due to cyclonic storm, two died

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    जलगांव. अरब महासागर (Arabian Ocean) में आए चक्रवात का असर जलगांव (Jalgaon) और धुलिया जिले (Dhulia District) में शनिवार की शाम से दिखाई दिया। तूफानी हवाओं के कारण सड़कों पर अनेक स्थानों पर पेड़ टूटकर गिर गए, वहीं अनेक स्थानों पर बारिश (Rain) भी हुई। यह सिलसिला रविवार को भी जारी रहा। धूल भरी आंधी से नागरिकों का सड़क पर चलना मुहाल हो गया था। अमलनेर तहसील में पेड़ गिरने से 2 सगी बहनों की दबकर मौत रविवार दोपहर को हो गई। महासागर में  चक्रवाती तूफान के कारण खानदेश में तापमान सामान्य से 3 डिग्री कम रहा। लोगों ने फिलहाल तपती गर्मी से राहत महसूस की। 

    रविवार की दोपहर को अमलनेर तहसील में धूल भरी आंधी के साथ तहसील में जोरदार बारिश हुई। इस दौरान खलिहान में इमली का पेड़ एक झोपड़ी पर गिर जाने से दो मासूम बालिकाओं की दबकर मौत हो गई है। परिवार के अन्य व्यक्ति घायल हो गया हैं। ग्रामीणों ने राहत बचाव कर मृतकों को बाहर निकालने की कोशिश की।

    मृतक दोनों सगी बहनों को ग्रामीणों को निकाला बाहर 

    रणाईचे में राजेंद्र भीमराव पाटिल के खेत में रखवाली करने आए बल्लू बरेला ने गांव के बाहर एक खलिहान में अपनी झोपड़ी बनाई  थी। रविवार की दोपहर को 3 बजे के करीब अचानक तेज हवा के साथ बारिश शुरू हो गई और देखते ही देखते रखवाली करने वाले मजदूर की झोपड़ी पर इमली का पेड़ गिर गया। बल्लू की कुटिया दब गई। इसमें उसकी बड़ी बेटी ज्योति बरेला (16) और रोशनी बरेला (10) की पेड़ के नीचे कुचलकर मौत हो गई। पारोला, एरंडोल, अमलनेर और धुलिया तहसील के कई इलाकों में रविवार तथा शनिवार की रात आए भीषण चक्रवाती तूफान से भारी नुकसान हुआ है। तूफान से पारोला सदर अमलनेर में भयंकर तबाही हुई है। जिला समेत कई गांवों में चक्रवाती तूफान से व्यापक नुकसान हुआ।

    तूफान से हुआ व्यापक नुकसान

    जलगांव जिले के कुछ हिस्सों में शनिवार को तेज हवाओं के साथ भारी बारिश हुई। रविवार को भी जिले में ज्यादातर आंशिक रूप से बादल छाए रहे और कुछ स्थानों पर  बारिश होती रही ।  इस साल मार्च से जिले में तापमान लगातार बढ़ रहा है, जिससे जिलावासियों को गर्मियों को झेलना पड़ रहा है।  लेकिन जैसे-जैसे राज्य में मौसम में बदलाव जारी रहा, वैसे-वैसे जिले में तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई। हालांकि, जिले में पिछले एक सप्ताह से तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से ऊपर बना हुआ है।

    धुलिया में मूसलाधार बारिश

    रविवार की देर शाम को धुलिया में भी चक्रवात ने जोरदार दस्तक दी। धूल भरी आंधी के साथ 4।15 बजे मूसलाधार बारिश हुई। चक्रवाती तूफान से खानदेश के कई इलाके पूरी तरह तबाह हो गए, कस्बों से लेकर गांव तक भारी नुकसान हुआ है। बड़े-बड़े पेड़ उखड़ कर गिर चुके हैं। शिरपुर धुलिया में तबाही का नजारा साफ दिखता है। सैकड़ों आशियाने ध्वस्त हो चुके हैं। तबाही के बाद लोग खुले आसमान के नीचे रहने को विवश हो गए है। लोगों ने तूफान से हुए नुकसान पर सरकार से मुआवजा मांगा है।

    हजारों एकड़ में मकई की फसल बर्बाद

    इस तूफान से किसानों को भी भारी नुकसान पहुंचा है। हजारों एकड़ में मकई की फसल बर्बाद हो गई। लोगों का कहना है कि बीती रात करीब 9 बजे भीषण बारिश हुई थी। हर तरफ तबाही का मंजर दिख रहा था। लोग अपने बच्चों को लेकर घर में चौकी के नीचे दुबके हुए थे। कहीं छत उड़ रही थी तो कहीं पेड़ की डाल टूट कर गिर रही थी। इसके अलावा कई जगह बिजली के खंभे और ट्रांसफार्मर भी टूट कर गिर गए हैं। जिस कारण बिजली आपूर्ति भी बाधित हो गई है। लोग प्रशासन से मांग कर रहे हैं कि जल्द मुआवजा दें, ताकि लोग राहत की सांस ले सकें।