मुंबई: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के विधायक रोहित पवार (Rohit Pawar) ने शुक्रवार को प्रवर्तन निदेशालय (ED) से अनुरोध किया कि उन्हें 24 जनवरी को नहीं, बल्कि 22 या 23 जनवरी को पूछताछ के लिए बुलाया जाए। ईडी ने कथित महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक (MSCB) घोटाला मामले में धन शोधन जांच के तहत राकांपा प्रमुख शरद पवार के पोते और कर्जत-जामखेड से विधायक रोहित पवार (38) को 24 जनवरी को पूछताछ के लिए बुलाया है।
महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक धन शोधन मामला मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा की अगस्त 2019 की प्राथमिकी पर आधारित है। शरद पवार के नेतृत्व वाली राकांपा के विधायक ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि मराठा समुदाय के लिए आरक्षण की मांग को लेकर पूरे महाराष्ट्र से प्रदर्शनकारी 24 जनवरी को मुंबई आएंगे और इसलिए समन की तारीख में बदलाव के लिए ईडी से अनुरोध किया गया है।
#ED च्या बातमीमुळं राज्यातून अनेकांनी फोन/मेसेज केले. या सर्वांचे मनापासून आभार मानतो, परंतु काळजीचं काहीही कारण नाही. कोणत्याही अधिकाऱ्यांची चूक नसते तर ते केवळ आदेशाचं पालन करुन त्यांचं काम करत असतात म्हणून त्यांना सहकार्य करणं हे आपलं कर्तव्य आहे. आजपर्यंत सर्वच यंत्रणांना…
— Rohit Pawar (@RRPSpeaks) January 19, 2024
उन्होंने कहा, ‘‘मैंने ईडी से मुझे 22 या 23 जनवरी को पूछताछ के लिए बुलाने का अनुरोध किया है। ईडी अधिकारियों की कोई गलती नहीं है, क्योंकि वे आदेशों का पालन कर रहे हैं। उनके साथ सहयोग करना सभी की जिम्मेदारी है।”
इस बीच, राकांपा ने इस मुद्दे को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधा। राकांपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता क्लाईड क्रैस्टो ने कहा कि अगर रोहित पवार को केंद्रीय एजेंसी ने तलब किया है, तो कई अन्य लोगों को भी पूछताछ के लिए बुलाया जाना चाहिए जिन पर भाजपा में शामिल होने से पहले पार्टी नेताओं ने (अनियमितताओं के) आरोप लगाए थे।
उन्होंने कहा कि केंद्रीय एजेंसियों को उन दागी नेताओं को न्याय के कठघरे में लाना चाहिए, जो अब ‘‘भाजपा की वॉशिंग मशीन में धुलकर पाक-साफ हो गए हैं।” ईडी ने पांच जनवरी को बारामती, पुणे, औरंगाबाद और कुछ अन्य स्थानों पर रोहित पवार के स्वामित्व वाली कंपनी बारामती एग्रो और कुछ संबंधित संस्थाओं के परिसरों पर छापेमारी की थी।