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    •  नागरिकों को सतर्कता बरतने वनविभाग ने की अपील 

    चामोर्शी. तहसील के कुनघाडा रै. वनपरिक्षेत्र कार्यालय अंतर्गत आनेवाले जंगल परिसर के गांवों में विगत एक पखवाडे से बाघ ने मानव तथा मवेशियों पर हमले कर घायल करने की घटनाएं हो रही है. जिससे इस परिसर में बाघ की दहशत को ध्यान में लेते हुए नागरिकों को सतर्कता बरतने का आह्वान कुनघाडा रै. वनपरिक्षेत्र कार्यालय की ओर से किया गया है. 

    कुनघाड़ा रै. परिसर के पावीमुरांडा, नवरगाव, गिलगांव, कुथेगाव, मुरमुरी, बांधोना, येडानुर समेत अन्य गांवां के जंगल परिसर में चराई हेतु गए मवेशियों पर बाघ ने हमला कर मवेशियों को घायल किया है. वहीं अबतक बाघ के हमले में 3 बकरियों की भी मृत्यू हुई है. एक महिला को बाघ ने घायल किया है. परिसर के गांव के अनेक किसानों की खेती जंगल से सटी है. फिलहाल धान कटाई व बांधनी का कार्य शुरू है. बाघ के दहशत के कारण इस कार्य पर विपरीत परिणाम हुआ है.

    धान कटाई कार्य के लिए किसान सुबह के दौरान खेत में जाते थे. किंतू बाघ के दहशत के कारण किसानों द्वारा कटाई व बांधनी का कार्य 11 से 5 बजे के दौरान निपटाकर घर लौट रहे है. धान कटाई के पश्चात कुटाई का कार्य किया जाता है. किंतू बाघ की दहशत के चलते इस कार्य पर भी परिणाम होनेवाला है. जंगलव्याप्त परिसर होने से दिनभर कार्य करते समय जान हथेली पर लेकर काम करना पड रहा है. 

    बाघ के हमले में बैल घायल 

    इस दौरान वनपरिक्षेत्र कुनघाडा रै. अंतर्गत आनेवाले उपक्षेत्र जोगना के मुरमुरी जंगल परिसर में बाघ ने हमला करने से बैल घायल होने की घटना 8 नवंबर को शाम के दौरान घटी. वनविभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार पशुपालक दिवाकर मांदाळे यह जोगना उपक्षेत्र के नियत क्षेत्र मुरमुरी कक्ष क्रमांक 16 इस जंगल परिसर में स्वयं के मालिकाना बैल चराने हेतु ले गए थे.

    इस दौरान घात लगाकर बैठे बाघ ने बैल पर हमला किया. जिसमें बैल घायल हुआ. घटना की जानकारी मिलते ही वनविभाग के कर्मचारी घटनास्थल पर पहुंचकर मामले का पंचनामा किया. इस समय क्षेत्रसहायक विवेकानंद चांदेकर, वनरक्षक वी. डी. मराठी, गुलाब मोहूर्ले, काशिनाथ महाडोरे उपस्थित थे. 

    जंगल में जाना टाले 

    बाघ की दहशत होने से नागरिक जंगल में जाना टाले तथा सतर्कता बरते. बाघ का अस्तीत्व दिखाई देने पर वनविभाग को सूचित करेने का आह्वान कुनघाडा रै. वनपरिक्षेत्र के  वनपरिक्षेत्रा अधिकारी माहेशकुमार शिंदे, क्षेत्र सहायक एस. एम. मडावी, क्षेत्र सहायक विवेकानंद चांदेकर, क्षेत्र सहायक सुरेश गव्हारे, क्षेत्र सहायक करोडकर आदि ने किया है.