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मुंबई: सेबी द्वारा वांछित 1,500 करोड़ के एसएमएस स्टॉक टिप घोटाले का मास्टरमाइंड हनीफ शेख देश छोड़कर फरार हो गया। हनीफ़ पिछले चार वर्षों के सबसे बड़े ‘पंप-एंड-डंप’ शेयर बाजार संचालन के लिए जिम्मेदार है। हनीफ़ के भारत से भाग जाने का संदेह है। सेबी सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार एसएमएस स्टॉक टिप घोटाले में हनीफ ने पंद्रह सौ करोड़ रुपये उड़ा दिए हैं। जबकि छोटे निवेशकों के पास बेकार पेनी स्टॉक ही बचे हैं। सेबी के अधिकारियों ने बताया कि शेख के सोशल मीडिया अकाउंट से पता चलता है कि वह दुबई में आलीशान जीवन का आनंद ले रहा है।

वेबसाइटों के माध्यम से थोक एसएमएस भेजता था 

सेबी के एक अधिकारी ने कहा, इस रैकेट में भोले-भाले निवेशकों को आकर्षित किया जाता था। जिसके लिए हनीफ़ वेबसाइटों के माध्यम से थोक एसएमएस भेजता था और स्टॉक टिप्स का प्रसार करता था। निवेशकों का ध्यान आकर्षित करने के बाद कई प्रमुख संस्थाओं के माध्यम से होल्डिंग्स को डंप करना उसका मुख्य मोडस था। हनीफ छोटे निवेशकों को आकर्षित करने के लिए फर्जी एसएमएस आईडी का उपयोग थोक में ‘खरीद’ सिफारिशें भेजने के लिए करता था।

प्रमुख इक्विटी ब्रोकिंग कंपनियों से मिलती जुलती फर्जी एसएमएस आईडी भी बनाई

जांच से पता चला है कि शेख ने छोटे निवेशकों को लुभाने के लिए ‘खरीद’ की सिफारिशों के साथ थोक फोन संदेश भेजने की व्यवस्था की थी। इसके लिए  उसने ज़ेरोधा और आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज जैसी प्रमुख इक्विटी ब्रोकिंग कंपनियों से मिलती जुलती फर्जी एसएमएस आईडी भी बनाई थी। जबकि उससे जुड़ी संस्थाओं ने बाद में बाजार में शेयर बेच दिए। सेबी अधिकारी एसके मोहंती द्वारा 19 जून को पारित एक आदेश में अनुमान लगाया है कि शेख ने सिर्फ पांच शेयरों में हेरफेर करके 144 करोड़ का अवैध लाभ कमाया है। सेबी से अनुमति मिलने से हनीफ शेख को स्टॉक में कारोबार करने वाली कई संस्थाओं से जुड़ने का अवसर दे दिया। जिनमें मौरिया उद्योग, 7 एनआर रिटेल, जीबीएल इंडस्ट्रीज और दार्जिलिंग रोपवे कंपनी शामिल हैं। हनीफ को अब लीडिंग लीजिंग फाइनेंस एंड इन्वेस्टमेंट, एग्रोफोस इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, वीबी इंडस्ट्रीज प्राइवेट लिमिटेड सहित कई अन्य शेयरों में हेरफेर करने में भी नामजद किया गया है।

सेबी को कैसे मिली जानकारी ?

निवेशकों से ऑनलाइन शिकायत मिलने के बाद सेबी सतर्क हो गया है। सेबी को इस रैकेट के बारे में तब पता चला जब सेबी को अपने ऑनलाइन शिकायत मंच पर कई निवेशकों की शिकायतें मिलीं.सेबी की प्रारंभिक जांच से पता चला कि इस घोटाले में थोक एसएमएस के माध्यम से स्टॉक टिप्स शामिल है। जिसके कारण सेबी को अहमदाबाद, मुंबई और कोलकाता में कई बैंक खातों और फंड ट्रांसफर के साथ शेख से जुड़ी 226 संस्थाओं तक पहुंच मिली। सेबी ने छोटी कंपनियों के प्रमोटरों के लिंक के साथ एसएमएस इकठ्ठा किए। जिसके बाद सेबी ने विदेशी मुद्रा बिल, ट्रेडिंग लॉग, जीमेल लिंक और कॉल डेटा रिकॉर्ड भी बरामद किए।

अपराध के साथीदार 

जांच में शेख से सीधे जुड़े लोगों में कासंभाई शेख, हसीना कासंभाई शेख, रॉबर्ट रिसोर्सेज, इकोनो ट्रेड इंडिया, इकोनो ब्रोकिंग और साई मेटलटेक की पहचान की जा चुकी है। शेख की सोशल मीडिया प्रोफ़ाइल में उसे एक बिजनेसमैन, निजी इक्विटी और स्टार्ट-अप निवेशक, अलंग पोर्ट में ग्रीन-शिप रिसाइक्लर और इकोनो ब्रोकिंग के प्रबंध निदेशक के रूप में बताया जाता है। सेबी ने नवंबर 2022 में शेख पर कई बार समन भेजने के बाद भी उपस्थित नहीं होने पर 7 लाख का जुर्माना भी लगाया था। हालाँकि कुछ जुर्माने की वसूली अभी भी बाकी है।