Dangerous for the economy, serious problem of fake currency

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    ठाणे : ठाणे कर नकली नोटों (Fake Currency) से सावधान रहे। क्योंकि पिछले कुछ दिनों में ठाणे (Thane) और आसपास के इलाकों में नकली नोटों की तस्करी बढ़ गई है। पिछले तीन से चार साल में ठाणे पुलिस ने बड़ी संख्या में नकली नोटों को जब्त कर तस्करों को पकड़ा है। पुलिस द्वारा मिली जानकारी के अनुसार ठाणे में नकली नोटों को इस तरह छापा और प्रसारित किया जा रहा है कि यह पता भी नहीं चलता कि नोट असली हैं या नकली।

    हालांकि नकली नोटों की तस्करी नहीं रुकी है और क्राइम ब्रांच ने हाल ही में नकली नोटों को जब्त किया है। नकली नोटों को बनाकर उसे भेजने के लिए अक्सर विदेशों के साथ-साथ भारत के पड़ोसी देशों से यहां तक पहुंचाने का इंतजाम किया जाता है, लेकिन कहा जा रहा है कि देश की अर्थव्यवस्था को पंगु बनाने की कोशिश कर रहे नकली नोटों के तस्करों पर समय रहते रोक लगाने की जरूरत है।

    गौरतलब है कि सबसे अधिक नकली नोट भीड़भाड़ वाले बाजार और जहां दुकान में भीड़ होने पर भी दुकानदार नोटों को ज्यादा न देखे वहां पर उपयोग किया जाता है। क्योंकि यदि नोट को लेकर अगर किसी को कोई शक होता है तो नकली नोट से सामान खरीदने वाला व्यक्ति अथवा तस्कर भीड़ का फायदा उठाकर भाग जाता है। पुलिस जांच में सामने आया है कि तस्कर सस्ता सामान खरीद कर दुकानदार को नकली नोट देता था और बाकी पैसे उससे ले लेता था। ये तस्कर ग्रामीण क्षेत्रों की तुलना में शहरी क्षेत्रों में अधिक सक्रिय दिखाई देते हैं। 

    नकली नोटों को बाजार में चलाने के दलाल सक्रिय 

    जाली नोटों की छपाई से लेकर उनके प्रचलन तक श्रृंखला पद्धति अपनाई जाती है। जो लोग नोट छापते हैं और उन्हें प्रचलन में लाते हैं, वे अलग है। तस्कर कुछ पैसे के बदले नकली नोट बेच रहे हैं और इसमें दलाल सक्रिय बताए जा रहे हैं। असली नोटों की तरह ही नकली नोट बनाने के लिए अत्याधुनिक प्रिंटर, स्याही और कागज का उपयोग किया जाता है। घर में जाली नोट भी छापने के लिए मशीन लगा दिया जाता है। दो साल पहले क्राइम ब्रांच की वागले यूनिट ने मुंबई के एक ग्राफिक डिजाइनर को गिरफ्तार किया था। इस दौरान पता चला कि घर में नोट छापा जा रहा था। पुलिस ने कार्रवाई में नोट छापने के लिए जरूरी सामग्री भी जब्त की थी। जाली नोटों की बरामदगी के बाद यह पता चला है कि ये नोट विदेशों से लाए जा रहे हैं।

    मुख्य सरगना तक पहुंच पाने पुलिस असफल 

    नोटों को चलन में लाने और उसे मार्केटिंग करने वाले मुख्य सरगना की तलाश में पुलिस विदेश जाती है। लेकिन अब तक पुलिस मुख्य सरगना को पकड़ पाने सफल नहीं हो पाई है। नतीजतन, कई बार जांच रुक जाती है और नकली नोट के तस्कर फरार हो जाते हैं। ऐसा माना जाता है कि पड़ोसी देश द्वारा भारत में नकली नोटों की तस्करी की जा रही है। विशेषकर पाकिस्तान और बांग्लादेश जैसे देशों का नाम कई बार सामने आ चुका है। छह साल पहले ठाणे के फिरौती विरोधी दस्ते ने जाली नोट मामले में गिरफ्तार किया था। पूछताछ में इन नोटों का बांग्लादेश कनेक्शन सामने आया था। इसलिए, कुछ साल पहले, ठाणे पुलिस ने जाली नोटों के सिलसिले में एक बांग्लादेशी नागरिक को गिरफ्तार किया था। इसलिए जरूरी है कि नकली नोटों की तस्करी में शामिल सभी लोगों का पता लगाया जाए ताकि देश की अर्थव्यवस्था को नुकसान न हो।  

    ठाणे तस्करों का केंद्र ?

    केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने हाल ही में ठाणे में नकली नोट बांटने के आरोप में मुंबई से एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। इससे पहले नकली नोटों के तस्करों को ठाणे से गिरफ्तार किया गया था। ऐसे में सवाल खड़ा हो गया है कि क्या ठाणे तस्करों का अड्डा बनता जा रहा है। बताया जा रहा है कि इस संबंध में पुलिस द्वारा पूछताछ की जा रही है। 

    ठाणे पुलिस द्वारा प्रमुख ऑपरेशन जब्त किये गए जाली नोट 

    • नवंबर 2021 – 2 लाख 98 हजार (दो हजार के नोट)
    • दिसंबर 2020 – 85 लाख (दो हजार के नोट)
    • नवंबर 2020 – 11 लाख 49 हजार
    • मार्च 2019 – 15 लाख 76 हजार (दो हजार के नोट)