Government is committed to make life easier for farmers, presentation of Minister Sanjay Rathod

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यवतमाल.  किसानों पर नजरें रखते हुए सरकार ने इस साल का आर्थिक बजट पेश किया है. बजट में अल्पकालीन व दीर्घकालीन योजनाओं का समावेश है. विविध योजनाओं के माध्यम से किसानों का जीवन सुकर बनाने के लिए सरकार कटिबद्ध है. इस आशय का प्रतिपादन अन्न व औषध प्रशासन मंत्री तथा जिले के पालकमंत्री संजय राठोड ने किया. 

आत्मा प्रकल्प कार्यालय, कृषि विभाग व महिला आर्थिक विकास महामंडल के संयुक्त तत्वावधान में विश्व साबूत अनाज वर्षनिमित्त आयोजित जिला कृषि महोत्सव का उद्घाटन पालकमंत्री संजय राठोड के हाथों समता मैदान में किया गया. इस अवसर पर मंच पर जिलाधिकारी अमोल येडगे, मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. श्रीकृष्ण पांचाल, पंजाबराव कृषि विद्यापीठ के कुलगुरू डॉ. शंकरराव गडाख, पुलिस अधीक्षक डॉ. पवन कुमार बनसोड, विभागीय कृषि सहसंचालक किसनराव मुले, संचालक विस्तार शिक्षण डॉ. उंदीरवाडे, सहयोगी संशोधन संचालक डॉक्टर प्रमोद यादगिरवार, डॉक्टर एन डी पार्लावार, जिला अधीक्षक कृषि अधिकारी नवनाथ कोलपकर, जिला कृषि विकास अधिकारी राजेंद्र मालोदे, कौशल्य विकास सहाय्यक आयुक्त विद्या शितोले, जिला पशुसंवर्धन अधिकारी क्रांती काटोले, आत्मा नियामक मंडल सदस्य रेणू शिंदे आदि मौजूद थे.

आर्थिक बजट में सरकार ने किसानों को फसल बीमें में सहुलियत देने का निर्णय लिया है. केवल एक रुपए में किसान फसल बीमा निकाल पाएंगे. किसानों के फसल बीमे की रकम सरकार भुगतान करेगी. इसके अलावा लगातार बारिश आज तक किसी भी सरकार ने नुकसान भरपाई नहीं दी थीं. इस साल पहली बार राज्य में 700 करोड रुपए और जिले को 51  करोड रुपयों की नुकसान भरपाई सरकार ने दी है. थिंबक सिंचाई के लिए अब तक केंद्र सरकार का अनुदान था, वह अब कम होने से राज्य सरकार ने भी इसमें अपना हिस्सा देकर अनुदान 80 फीसदी किया है.

इस समय साबूत अनाज पुस्तिका का प्रकाशन मान्यवरों के हाथों किया गया. इसके अलावा प्रगतिशीत किसानों का पालकमंत्री के हाथों सत्कार किया गया. वहीं महिला बचत समूह को व्यवसाय करने के लिए धनादेश का वितरण किया गया.

मान्यवरों के हाथों कृषि महोत्सव में लगाए गए विविध स्टॉल का उद्घाटन किया गया. इस समय पालकमंत्री, जिलाधिकारी और मौजूद मान्यवरों ने कृषि महोत्सव के विविध स्टॉल्स को भेंट दी. 

कृषि महोत्सव पर फिरा पानी

यवतमाल. जिले के किसानों का उत्पादन सीधे सीधे ग्राहकों तक पहुंचाने के उद्देश्य के साथ ही नई कृषि तकनीकों की जानकारी मिल सके इस लिहाज से समता मैदान पर शनिवार से कृषि महोत्सव का आयोजन किया गया है. कृषि महोत्सव का उद्घाटन राज्य के कृषि मंत्री अब्दुल सत्तार के हाथों किया जानेवाला था. लेकिन सत्तार का दौरा रद्द हो जाने के बाद पालकमंत्री के हाथों महोत्सव का उद्घाटन किया गया.

शुक्रवार की शाम से अचानक बेमौसम बारिश होने से महोत्सव स्थल की अवस्था दयनीय हुई. बारिश का पानी घूसने से कीचड जमने से स्टॉलधारकों को परेशान होना पडा. वहीं कर्मचारियों की हडताल का भी परिणाम कृषि महोत्सव पर देखने को मिला. राज्य में बेमौसम बारिश होने का पूर्वानुमान मौसम विभाग ने स्पष्ट कर दिया था. बावजूद इसके कृषि विभाग की ओर से पांच दिवसीय कृषि महोत्सव का आयोजन आखिर क्यूं लिया गया, यह सवाल अब उठने लगा है. यवतमाल यह किसान आत्महत्याग्रस्त जिला है. यहां के महोत्सव में कृषिमंत्री मौजूद रहकर किसानों को बल देंगे यही अपेक्षाएं थीं. लेकिन इन अपेक्षाओं पर भी पानी फिर गया. कृषि महोत्सव के आयोजन को लेकर शहर में विविध चर्चाओं का बाजार फिलहाल गरमाया हुआ है.