मुंबई: महाराष्ट्र (Maharashtra) में ठाणे (Thane) और दिवा (Diva) को जोड़ने वाली रेलवे लाइन (Railway Line) का उद्घाटन शुक्रवार शाम होना है। इससे पहले केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव (Railway Minister Ashnavi Vaishnav) और रेल राज्य मंत्री राव साहेब दानवे ने रेलवे अधिकारियों के साथ सेंट्रल रेलवे में लोकल ट्रेन में सफर किया। बताया जा रहा है कि, वे इस दौरान ठाणे से दिवा के लिए रवाना हुए। लोकल ट्रेन में सफर करते हुए मंत्री का वीडियो सोशल मीडिया पर सामने आया है।
बता दें कि, इस नई रेलवे लाइन का उद्घाटन आज पीएम मोदी करेंगे। शाम 4:30 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ठाणे और दिवा को जोड़ने वाली दो अतिरिक्त रेलवे लाइनें (Rail Lines) राष्ट्र को समर्पित करेंगे। इस बाबत प्रधानमंत्री कार्यालय ने बीते गुरुवार को इसकी जानकारी देते हुए सूचित किया कि, प्रधानमंत्री मोदी इस मौके पर मुंबई उपनगरीय रेलवे की दो उपनगरीय ट्रेनों को भी हरी झंडी दिखाएंगे। इन कार्यक्रम के बाद प्रधानमंत्री का आज एक संबोधन भी होगा।
Railway Minister @AshwiniVaishnaw travels by Mumbai local train between Thane and Diva. @mid_day pic.twitter.com/Zwwn0xWtRl
— Rajendra B. Aklekar (@rajtoday) February 18, 2022
वैष्णव ने शुक्रवार को मुंबई उपनगरीय रेल नेटवर्क के ठाणे और दिवा स्टेशनों के बीच दो अतिरिक्त रेलवे लाइन के निरीक्षण के लिए एक लोकल ट्रेन से यात्रा की और दौरे के दौरान स्टेशन के बाहर एक भोजनालय में ‘वड़ा पाव’ खाया। रेल मंत्री अपराह्न करीब एक बजे ठाणे स्टेशन पर मध्य रेलवे द्वारा संचालित लोकल ट्रेन में सवार हुए और दिवा स्टेशन तक गए। द्वितीय श्रेणी के डिब्बे में यात्रा करने के दौरान और दिवा स्टेशन पर भी मंत्री ने यात्रियों के साथ बात की।
इस बीच, दिवा स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर-एक पर अफरा-तफरी मच गई, क्योंकि उस कार्यक्रम को देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग इकट्ठा हो गए, जिसमें मंत्रियों ने हिस्सा लिया। यात्रियों ने बाद में शिकायत की कि वे अधिक भीड़ के कारण ट्रेन में सवार नहीं हो पाए, जबकि कुछ अन्य ने कहा कि वे ट्रेन से उतर नहीं पाए। उपनगरीय लोकल ट्रेनों को मुंबई की जीवन रेखा माना जाता है। कोविड-19 महामारी की वजह से यात्रा प्रतिबंधों के चलते वर्तमान में करीब 60 लाख यात्री रोजाना उपनगरीय ट्रेनों का उपयोग करते हैं। हालांकि, महामारी से पहले उपनगरीय ट्रेनों के जरिए 75 लाख से अधिक यात्री यात्रा करते थे।