
नई दिल्ली. भारतीय कुश्ती संघ (WFI) के अध्यक्ष और BJP सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ दिल्ली के जंतर-मंतर पर पहलवानों का आज जहां धरना तीसरे दिन मंगलवार को भी जारी है। इस बीच, केंद्रीय खेल मंत्रालय की ओवरसाइट कमेटी की मेंबर बबीता फोगाट ने कहा कि जांच ठीक से नहीं हुई, मुझे रिपोर्ट पढ़ने तक नहीं दी गई है।
इसके साथ ही अब सात महिला पहलवानों ने यौन उत्पीड़न के आरोप में प्राथमिकी दर्ज न करने का आरोप लगाते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया।वहीं अब भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृजभूषण सिंह के खिलाफ FIR दर्ज करने की मांग करने वाले 7 पहलवानों द्वारा दायर याचिका पर SC ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी किया है, अब मामले पर शुक्रवार को सुनवाई होनी है।
#UPDATE | SC lists the matter pertaining to the plea filed by seven wrestlers seeking registration of FIR against Wrestling Federation of India (WFI) president & BJP MP Brij Bhushan Singh; the matter has been listed on Friday.
There are serious allegation that is contained in…
— ANI (@ANI) April 25, 2023
वहीं बबीता ने यह भी कहा कि, सभी की सहमति के साथ यह रिपोर्ट नहीं बनी है। जांच रिपोर्ट पढ़ते वक्त मेरे हाथ से छीन ली गई थी। साई निदेशक और जांच कमेटी में शामिल राधिका श्रीमन ने मेरे साथ बदतमीजी भी की थी। मेरे कई बिंदुओं को दरकिनार किया गया। मैंने अपनी आपत्ति उस रिपोर्ट में दर्ज करवाई है।
विनेश ने यह भी जोर देते हुए कहा कि, “मैं आपको 100 बताऊं, 200 बताऊं, 500 बताऊं, 700 बताऊं, 1000 बताऊं, जितनी भी बताऊं मुझे तो कम लगती है। क्योंकि 12 साल से हमने इसका अत्याचार देखा है कि कितना हुआ है। कोई एक लड़की ही कुश्ती में इसने ऐसी छोड़ी होगी, जिसके साथ इसने बदतमीजी या सेक्शुअल हैरेसमेंट करने की कोशिश न की हो।”
जानकारी दें कि, जांच के लिए केंद्रीय खेल मंत्रालय ने ओवरसाइट कमेटी बनाई थी। जिसकी अध्यक्ष मैरीकॉम को बनाया गया था। इसमें रेसलर योगेश्वर दत्त, ध्यानचंद अवॉर्डी तृप्ती मुरगुंडे, स्पोर्ट्स अथॉरिटी ऑफ इंडिया (SAI) की सदस्य राधिका श्रीमन के अलावा TOPS कमेटी के पूर्व-सीईओ कमांडर राजेश राजगोपालन मेंबर थे। वहीं बाद में छठे मेंबर के तौर पर इसमें बबीता को शामिल किया गया था। फिलहाल सुप्रीम कोर्ट की तरफ जाता दिख रहा है।