धार्मिक मान्यता है कि वैशाख माह में स्नान, दान, जप, तप इत्यादि करने से साधक को शुभ फल की प्राप्ति होती है। साथ ही जीवन की सभी परेशानियों से छुटकारा मिलता है।
सीमा कुमारी
नवभारत लाइफस्टाइल डेस्क: सनातन धर्म में ‘वैशाख माह’ (Vaishakh Month 2024) का बड़ा महत्व है। हिंदू पंचांग के अनुसार, नववर्ष का दूसरा महीना वैशाख होता है। इस साल 2024 वैशाख मास (Vaishakh Month 2024) जो 24 अप्रैल से शुरू हो रहा है 22-23 मई तक रहेगा। ज्योतिष- शास्त्र के अनुसार, इस माह में जगत के पालनहार भगवान विष्णु की पूजा करने का विधान है। धार्मिक मान्यता है कि वैशाख माह में स्नान, दान, जप, तप इत्यादि करने से साधक को शुभ फल की प्राप्ति होती है। साथ ही जीवन की सभी परेशानियों से छुटकारा मिलता है। ऐसे में आइए जानिए इस बार वैशाख माह कब से शुरू हो रहा है और इसके महत्व के बारे में।
तिथि
पंचांग के अनुसार, वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि की शुरुआत 24 अप्रैल को सुबह 05 बजकर 18 से मिनट से होगी और इसका समापन 25 अप्रैल को सुबह 06 बजकर 46 मिनट पर होगा। वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि का सूर्योदय 24 अप्रैल बुधवार को होगा। इसी दिन से वैशाख माह की शुरुआत होगी और इसका समापन 23 मई को होगा।
वैशाख माह का महत्व
स्कंद पुराण के अनुसार, वैशाख माह सभी महीनों से श्रेष्ठ माना जाता है। इसके समान कोई दूसरा महीना नहीं है। इस माह को ‘पुण्यार्जन मास’ कहा जाता है। कहा जाता है कि वैशाख के महीने में सभी देवी और देवता का वास जल में होता है। भगवान विष्णु ने सभी देवी और देवताओं को ऐसा करने के लिए कहा था।
इन वस्तुओं का दान करना माना जाता है शुभ
1- ज्योतिषियों के अनुसार, तिल जल में प्रवाहित करने से लाभ मिलेगा। इसके अलावा आम का भी दान कर सकते हैं। मान्यता है कि, ऐसा करने से साधक को शुभ फल की प्राप्ति होती है।
2- वैशाख माह में सत्तू का भी दान कर सकते हैं। क्योंकि, सत्तू का संबंध ग्रहों के राजा सूर्य और गुरुदेव बृहस्पति से माना गया है। वैशाख में सत्तू का दान करने से सूर्य और गुरुदेव बृहस्पति की स्थिति मजबूत होती है।
3-धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, वैशाख माह में जल का दान करना सबसे बड़ा दान माना जाता है। कहते हैं कि वैशाख माह में जो भी व्यक्ति जल का दान करेगा, उसे कई तीर्थों के करने के पुण्य के समान फल प्राप्त होता है। स्कंद पुराण में जल दान के महत्व को श्रेष्ठ बताया गया है।
4-ज्योतिष धर्म गुरु की मानें तो, वैशाख माह में जगत के पालनहार भगवान विष्णु की पूजा करने से व्यक्ति के सभी संकट दूर होते हैं और उसकी मनोकामनाएं पूरी होती है। विष्णु पूजा में तुलसी के पत्ते का उपयोग जरूर करें। इस माह में सूर्योदय से पहले स्नान करें, फिर विष्णु पूजा, दान, जप और तप करें, इससे सुख-समृद्धि प्राप्त होगी।
5- कहते है, जो व्यक्ति वैशाख के महीने में राहगीरों को जल पिलाता है, उनके लिए प्याऊ लगाता है, पशु-पक्षियों के लिए दाने की व्यवस्था करता है, उसके जीवन में सुख और समृद्धि आती है।