प्रतिबंधित कपास बीज जब्त, कृषि कंपनी में कार्यरत आरोपी गिरफ्तार

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अमरावती. कृषि विभाग ने डमी ग्राहक बनकर की छापामार कार्रवाई में 3.67 लाख कीमत के बोगस एचटीबीटी बीज के 442 पैकेट जब्त किए गए हैं. मामले में आरोपी अशोक भाटे (37, शिक्षक कॉलोनी, देशमुख लॉन के पास) को गिरफ्तार किया गया है. आरोपी अशोक भाटे स्वयं कृषि कंपनी में कार्यरत बताया गया है. पूछताछ में आरोपी ने बताया कि उसने बीज गुजरात से बुलाया है. गाड़गेनगर पुलिस थाने में अशोक भाटे पर मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार किया गया.

जाल बिछाकर कार्रवाई 

आरोपी भाटे सुरुचि इन बार के पास एक ग्राहक को प्रतिबंधित बीज बेचने आने की खबर कृषि विभाग को मिलते ही राहुल सातपुते बोगस बीज पर नजर रखने गठित उड़नदस्ते के प्रमुख गोपालराव देशमुख समेत दल के अधिकार व आयुक्तालय पुलिस की अपराध शाखा दल ने जाल बिछाया और अशोक भाटे को हिरासत में ले लिया. उसके वाहन की जांच में पीछे की सीट पर और डिक्की में प्रतिबंधित बीज के पैकेट बरामद हुए. कार्रवाई जिला कृषि अधिकारी अजय तलेगांवकर, विभागीय गुणवत्ता नियंत्रण अधीक्षक अनंत म्हसकरे, जिला गुणवत्ता नियंत्रण निरीक्षक दादासो पवार, कृषि अधिकारी उद्धव भायेकर, पवनकुमार डोंगरे, रविकांत उईके समेत पीएसआई राजकिरण येवले, जावेद अहमद, दीपक सुंदरकर, गजानन ढेवले, एजाज शाह, योगेश पवार आदि सहभागी हुए थे. मामले में उद्धव भायेकर की शिकायत पर गाड़गेनगर पुलिस ने अशोक गुलाबराव भाटे के खिलाफ मामला दर्ज किया.

3.67 लाख कीमत के 442 पैकेट जब्त

आरोपी अशोक भाटे वैभव सीड्स कंपनी में कार्यरत बताया गया है, किंतु वैभव सीड्स का माल अमरावती जिले नहीं बेचा जाता है. इस ड्यूटी की आड़ में वह गुजरात के सूरत और अहमदाबाद से घटिया दर्जे के कपास के बीज लाकर उसकी अंकुर, स्वदेशी, अजीत आदि नामी कंपनियों के नाम से पैकेट छपवाकर मार्केट में बेचता था. कृषि विभाग के दल ने कार्रवाई में उसके घर से 442 पैकेट जब्त किए गए हैं. जब्त किए गए प्रतिबंधित बीज की कीमत 3 लाख 67 हजार रुपए बताई गई है.

छापे में स्वदेशी कंपनी के 25 और अंकुर कंपनी के कपास बीज के पॉकेट बरामद किए है. आरोपी अशोक भाटे के पास बोगस बीज के व्यवसाय में कुछ कृषि केंद्र संचालक भी शामिल होने का संदेह कृषि विभाग को है. उसके पास से डायरी व मोबाइल जब्त किया है. उस डायरी में अमरावती शहर व जिले के कुछ कृषि केंद्र संचालकों के नाम और पते लिखे हुए हैं. उसके आधार पर अब पुलिस की मदद से कृषि विभाग बोगस बीज विक्रेताओं तक पहुंचने का प्रयास करेगी.