
आरमोरी . प्रथम बार ग्राम विकास मंत्रालय ने पंचायत समिति सदस्यों की मांग पर पंचायत समिति स्तर पर 15वें वित्त आयोग से पंस सदस्यों को निधि उपलब्ध कराई है. पंस सदस्यों ने अपने क्षेत्र में विकासकार्य करेन के लिए प्रशासकीय मंजूरी के दस्तावेज पंस को पेश किए. किंतु 7 माह का समय बीतने के बावजूद एक भी विकासकार्यों को मंजूरी नहीं मिलने के चलते संवर्ग विकास अधिकारी की भेंट लेकर चर्चा करने पर अब तक सरकार से ऑनलाइन नियोजन प्रक्रिया शुरू नहीं होने की जानकारी मिली है. पंस स्तर पर 15वे वित्त आयोग के कार्यों की ऑनलाईन प्रक्रिया शुरू करने की मांग पंस सदस्य वृंदा गजभिये ने राज्य के ग्रामविकास मंत्री हसन मुश्रीफ से की है.
उन्होंने बताया कि ग्रामविकास विभाग ने 15वें वित्त आयोग से पंचायत समति स्तर पर वर्ष 2019-20 इस वर्ष के लिए पंचायत समिति सदस्यां को सरकार की ओर से कासवी पंस क्षेत्र के लिए 4,32,650 रु., ठाणेगांव 6,07,335 रु., पलसगांव 5,16,164 रु., इंजेवारी 4,97,961 रु., सिसि 6,13,281 रु., मानापुर 5,41,921 रु., वैरागड 5,39,903 रु., वडधा 4,77,991 रु., सहित कुल 42,27,206 रु. की निधि उपलब्ध कराई गई है. किंतु संवर्ग विकास अधिकारी से उक्त कार्यों को प्रशासकिय मान्यता प्रदान नहीं हुई है.
बारिश का मौसम शुरू हो रहा है. पंस सदस्यों का 5 वर्ष का कार्यकाल वर्ष 2022 के मार्च माह तक है. अब कुछ विकासकार्य हुए तो आगामी निधि आने में देरी नहीं लगेगी. किंतु कार्यकाल में अबतक एक भी निधि जनता न पहुंचने से आश्वासन विफल होने की नौबत आयी है. पंस सदस्य वृंदा गजभिये ने संवर्ग विकास अधिकारी हिवस से मुलाकात कर पंस स्तर के 15वें वित्त आयोग के विकासकार्यों के प्रशासकीय मान्यता देने संदर्भ में मांग करते हुए चर्चा की.
संवर्ग विकास अधिकारी ने अबतक सरकार से ऑनलाइन नियोजन की प्रक्रिया शुरू नहीं होने की बात कहीं. उन्होंने पंस स्तर पर 15वें वित्त आयोग के विकासकार्यो की ऑनलाईन प्रक्रिया शुरू करने की मांग ग्रामविकास मंत्री हसन मुश्रीफ को भेजे गए ज्ञापन में की है. इस समय पंस सदस्य मस्के उपस्थित थे.