Markanda temple, Hunger trike

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गड़चिरोली. मार्कंडा मंदिर जीर्णोद्धार कार्य पूर्ण करने की मांग को लेकर हरनघाट के संत मुरलीधर महाराज ने गड़चिरोली में जनआंदोलन कर मार्कंडादेव में अनशन शुरू किया था. वहीं शनिवार को अनशन के 9 वें दिन पुरातत्त्व विभाग ने राजस्व प्रशासन के मार्फत आगामी 1 मार्च से मंदिर का पूर्ववत निर्माणकार्य शुरू होगा, ऐसा आश्वासन दिया गया. वहीं विपक्षी नेते विजय वडेट्टीवार ने अनशनकर्ता संत मुरलीधर महाराज व प्रशासन में मध्यस्थता कर अनशन का समाप्त कराया है.

गड़चिरोली जिले के चामोर्शी तहसील के मार्कंडा में पुरातन हेमाडपंथी शिव मंदिर है. मार्कंडेश्वर मंदिर में दर्शन के लिए प्रतिवर्ष लाखों श्रद्धालु आते हैं. महाशिवरात्री पर यहां भव्य मेले का आयोजन किया जाता है. गत 9 से 10 वर्ष पूर्व पुरातत्व विभाग ने इस पुरातन हेमाडपंथी मंदिर का जीर्णोद्धार करने के लिए इस मंदिर के पत्थर निकाले थे. लेकिन जीर्णोद्धार कार्य की अनदेखी की गई. जिससे श्रद्धालुओं में रोष उमड़ रहा था. ऐसे में चंद्रपुर जिले के सावली तहसील के हरनघाट के संत मुरलीधर महाराज ने जीर्णोद्धार की मांग को लेकर जनआंदोलन का ऐलान किया था. 9 दिनों से निरंतर अनशन जारी था. वहीं राज्य के विपक्ष नेता ने विजय वडेट्टीवार ने भी अनशन को समर्थन देते हुए प्रशासन व पुरातत्व विभाग को चेताया था. जिसको लेकर शनिवार को अनशन के 9वें दिन नेते वडेट्टीवार अनशन मंडप में भेंट दी. वहीं तहसीलदार प्रशांत घरुडे, चामोर्शी के पुलिस निरीक्षक, जन आंदोलन व अनशन समिति के पदाधिकारी की ओर से स्थिती पर जिलाधिकारी व पुरातत्त्व विभाग के अधिकारियों से मोबाइल फोन से चर्चा कर आंदोलन की गंभीरता बताते हुए मंदिर के दयनीय स्थिती को लेकर शीघ्र निर्णय लेने की बात कही.

नेते वडेट्टीवार के मध्यस्थता के बाद पुरातत्व विभाग ने राजस्व विभाग के मार्फत अनशनकर्ता मुरलीधर महाराज को लिखित पत्र देकर 1 मार्च से मंदिर का पूर्ववत निर्माणकार्य शुरू होने का आश्वासन दिया. पत्र मिलते ही विरोधी पक्ष नेते विजय वडेट्टीवार के हाथों नींबूपानी पीकर मुरलीधर महाराज द्वारा जारी अनशन समाप्त किया गया. इस समय कांग्रेस के जिलाध्यक्ष महेंद्र ब्राम्हणवाडे, आदिवासी कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष तथा पूर्व विधायक डा. नामदेव उसेंडी, डा. नामदेव किरसान, हसन गिलानी, अजय कांकडालवार, चंदा कोडवते, कवडू कुंदावार , स्वप्नील कावले समेत बड़ी संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता, अनशन समिति के पदाधिकारी व नागरिक उपस्थित थे. 

आश्वासन का पालन करें, अन्यथा विशाल मोर्चा

देश के अन्य मंदिरों के लिए करोडों का खर्च करनेवाली सरकार को मार्कंडेश्वर मंदिर को निधि देना चाहिए. स्थानीय जनप्रतिनिधि यह इसके लिए जिम्मेदार है. वहीं आज पुरातत्त्व विभाग की ओर से राजस्व प्रशासन के माध्यम से लिखित आश्वासन देते हुए आगामी 1 मार्च से मंदिर का कार्य शुरू करने का आश्वासन दिया है. ऐसे में दिए गए तारीख से कार्य शुरू न होने पर मुरलीधर महाराज के साथ व्यापक श्रद्धालु व नागरिकों के उपस्थिती में विशाल मोर्चा निकालेंगे, ऐसी चेतावनी विपक्ष नेते विजय वडेट्टीवार ने दी है. 

मैं अन्नत्याग अनशन पीछे ले रहा हुं : संत मुरलीधर

विपक्ष नेते विजय वडेट्टीवार के शब्द पर मैं अन्नत्याग अनशन पीछे ले रहा हुं. प्रशासन ने अगर मंदिर के जीर्णोद्धार में टाल मटोल की तो सीधे मंदिर में ही अनशन पर बैठेंगे. ऐसी चेतावनी संत मुरलीधर महाराज ने प्रशासन को दी है.