water supply
प्रतिकात्मक तस्वीर

    Loading

    -राधा कृष्णन सिंह

    वसई: एक ओर शहर में पानी की भारी किल्लत (Water Shortage) है, वहीं दूसरी ओर लाखों लीटर पानी के दुरुपयोग किए जाने की बात सामने आई है। वसई-विरार महानगरपालिका (Vasai-Virar Municipal Corporation) के प्रारंभिक सर्वेक्षण (Survey) अनुसार, शहर में हजारों की संख्या में अवैध नल कनेक्शन (Illegal Tap Connection) हैं। जिसके कारण शहर में प्रतिदिन भारी मात्रा में पानी का दुरुपयोग हो रहा है। महानगरपालिका ने अवैध नल कनेक्शनों की जांच कर उसे काटने का निर्णय लिया था, जिस पर कार्रवाई शुरू कर दी गई हैं।

    बढ़ती जनसंख्या, पानी की कमी और वितरण व्यवस्था में कमी के कारण वसई-विरार शहर में पानी की किल्लत उत्पन्न हुई है। महानगरपालिका की पूरी निर्भरता अब सूर्या जल परियोजना से एमएमआरडीए के जरिए मिलने वाले पानी पर है, लेकिन इसके लिए वर्ष के अंत तक इंतजार करना होगा। शहर मार्च से ही पानी की संकट से जूझ रहा है और अगले दो-ढाई महीने तक यह एक बड़ी चुनौती होगी। शहर के अंदर बड़ी संख्या में अवैध नल कनेक्शन हैं, जो पानी का दुरुपयोग करते नजर आएं हैं।

    प्रतिदिन 3 करोड़ लीटर पानी होता है बर्बाद 

    महानगरपालिका द्वारा दिए गए जानकारी अनुसार, शहर में 3 हजार से अधिक अवैध नल कनेक्शन हैं। यह अवैध नल कनेक्शन सीधे मुख्य पाइपलाइन से जोड़े जाते हैं। इससे अधिकांश पानी लीकेज के कारण बर्बाद हो जाता है। गलत तरीके से प्लंबिंग के कारण उपयोगकर्ताओं को पानी कम मिलता है, जबकि बर्बाद ज्यादा होता है। जिन क्षेत्रों में अवैध नल कनेक्शन हैं, उन इलाकों के अन्य नागरिकों को कम दबाव से पानी मिलता है और संपूर्ण वितरण व्यवस्था चरमरा जाती है।  महानगरपालिका के अनुसार, अवैध नल कनेक्शन के कारण प्रतिदिन 3 करोड़ लीटर पानी बर्बाद होता है।

    काटे जाएंगे अवैध नल कनेक्शन

    महानगरपालिका के पानी वितरण विभाग के अधिकारी ने बताया कि पानी कमी की समस्या को दूर करने के लिए महानगरपालिका ने अवैध रूप से जोड़े गए नल कनेक्शन को काटने का निर्णय लिया है। कुछ माह पूर्व महानगरपालिका ने शहर में 119 अवैध नल कनेक्शन काटा था। इससे 90 लाख लीटर पानी की बचत होने लगी थी। जिसके चलते शहर में जोड़े गए सभी अवैध नल कनेक्शन को काटने के लिए सर्वेक्षण के काम शुरू है। फिलहाल शहर में 3 हजार से अधिक अवैध नल कनेक्शन होने का अंदाजा लग रहा है। जैसे -जैसे जानकारी मिल रही है, विभाग के कर्मचारी उसे काटने का काम कर रहे हैं।

    प्रतिदिन 4.30 करोड़ लीटर पानी की कमी

    वसई-विरार शहर को सूर्या प्रकल्प के दोनों चरणों से 23 करोड़ लीटर, पेल्हार बांध से 1 और उस गांव बांध से 2 करोड़ लीटर सहित कुल 23 करोड़ पानी वितरित किए जा रहे हैं। शहर को 32.6 करोड़ लीटर पानी की जरूरत है, जबकि महज 22 करोड़ लीटर पानी मिल रहे हैं। उसमें भी जल रिसाव का दर 15% से अधिक है। जिसके कारण प्रत्यक्ष रूप से नागरिकों को महज 19 करोड़ लीटर ही पानी मिल रहा है। प्रतिदिन 4.3 करोड़ लीटर पानी की कमी होने से नागरिकों को पानी की किल्लत का सामना करना पड़ रहा है। 

    …तो लोगों को मिलेगी राहत

    वसई-विरार महानगरपालिका के जल वितरण विभाग के अधिकारी के कहना है कि शहर में अवैध रूप से जोड़े गए नल कनेक्शन से बड़े पैमाने पर पानी बर्बाद हो रहा है। शहर में 3 हजार से ज्यादा नल कनेक्शन अवैध रूप से जुड़े हैं, हमने उसकी जांच कर काटने का निर्णय लिया गया था, जिस पर काम शुरू है। इससे प्रतिदिन 3 करोड़ लीटर से अधिक पानी बचेगा, जिससे नागरिकों को राहत मिल सकता है।