मुंबई के अविघ्न पार्क अग्निकांड से सुरक्षा पर सवाल

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    मुंबई: करी रोड स्टेशन (Curry Road Station) के सामने बने गगनचुंबी इमारत अविघ्न पार्क (Avighna Park) में लगी आग (Fire) से अकारण ही एक व्यक्ति की जान चली गई। इससे पहले मुंबई सेंट्रल (Mumbai Central) के सिटी मॉल (City Mall) में लगी लगने से पूरा मॉल ही खाक हो गया था। उसमें भी फायर ब्रिगेड (Fire Brigade) की लापरवाही सामने आई थी। अविघ्न पार्क में आग से बीएमसी (BMC) और बिल्डर (Builder) की लापरवाही सामने आई है। बीएमसी प्रशासन अब इमारत में लगी आग की जांच की बात कर रहा है, लेकिन आग लगने के कुछ दिनों तक बीएमसी जांच करने और दोषियों पर कार्रवाई की बात करती है, लेकिन समय बीतने के साथ सभी रिपोर्ट और कार्रवाई फाइलों में गुम हो जाती है।

    अविघ्न पार्क की 19वीं मंजिल पर जहां आग लगी थी। उसके बी विंग फ्लैट नंबर1902 में रोहित राठौड का परिवार रहता है। रोहित ने बताया कि जब आग लगी तो वे इमारत के बाहर थे। उनकी पत्नी और बेटी को पड़ोसी ने बचाया। रोहित ने कहा कि वे भाग कर घर पहुंचे। रोहित ने कहा कि हमने आग बुझाने की कोशिश की। फ्लोर पर रखे गए फायर एक्स्टिंग्यूसर काम नहीं कर रहा था। इमारत में लगी फायरलाइन में पानी नहीं था। लोग आग बुझाते कैसे जब पानी ही नहीं था। ऐसा नहीं है कि आग को बुझाया जा सकता था लेकिन सिस्टम काम नहीं कर रहा था। फायर ब्रिगेड की टीम एक घंटे बाद पहुंची तब तक आग बेकाबू हो चुकी थी।

    बिल्डर पर लापरवाही का आरोप

    रोहित ने बिल्डर पर लापरवाही का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि बिल्डर को सही सुविधाएं उपलब्ध करानी चाहिए थी। इतनी उंची इमारतों के उपरी मंजिल पर यदि आग लगती है तो उसे बुझाने के लिए बीएमसी के पास भी कोई यंत्रणा ही नहीं है। सोसायटी को इमारत हैंडओवर करने के बाद यह जिम्मेदारी सोसायटी पर आती है, लेकिन अविघ्न इमारत के केवल 25 प्रतिशत फ्लैट में ही लोग रहने आए हैं। इमारत पूरी बिकी नहीं है इसलिए सोसायटी को हैंडओवर नहीं किया गया है। फिलहाल आग लगने जैसी घटना की पूरी जवाबदेही बिल्ड़र की बनती है।

    आग की पूरी जांच कर दोषियों पर कठोर कार्रवाई होगी। अब से सभी सोसायटियों को हर 6 महीने में अग्नि सुरक्षा रिपोर्ट बीएमसी को सौंपना अनिवार्य बनाया जाएगा। हाईराइज इमारतों के सुरक्षा गार्डों को भी सुरक्षा संबंधी प्रशिक्षण लेना अनिवार्य किया जाएगा। इमारतों की सुरक्षा सुदृढ़ करने के लिए जल्द ही फायर ब्रिगेड के साथ बैठक करुंगा।

    - असलम शेख, पालक मंत्री, मुंबई

    10 वर्षों में आग लगने की 48,438 घटनाएं 

    आग लगने की घटनाओं में बीते 10 वर्षों में 48,438 घटनाएं हुई हैं जिसमें 609 लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है। इनमें 32,516 आग की दुर्घटना शार्ट सर्किट के कारण हुई हैं। 1116 दुर्घटनाएं गैस सिलेंडर लीकेज और 11,889 आग की दुर्घटनाएं अन्य कारणों से हुई हैं। शकील अहमद शेख द्वारा आरटीआई से निकाली गई जानकारी में यह तथ्य सामने आए हैं। मुंबई में हो रही आगजनी में अरबों रुपए की संपत्ति को नुकसान हो चुका है।

    यहां लगी आग

    • हाईराइज इमारतें- 1568
    • रिहायशी इमारतें- 8737
    • कमर्शियल इमारतें -3833
    • झोपड़पट्टियां – 3252