Maharashtra Government
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे

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    नाशिक : मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Chief Minister Eknath Shinde) ने जिला वार्षिक योजना के तहत अप्रैल 2022 से स्वीकृत सभी कार्यों (Works) को स्थगित (Postponed) करने का निर्णय लिया है। इस संबंध में अध्यादेश उप सचिव ने जारी किया है। इस आदेश के बाद अब तक स्वीकृत विकास कार्यों (Approved Development Works) पर विराम लगने वाला है। आदेश में यह भी कहा गया है कि जिले के नए पालक मंत्री (Foster Minister) की नियुक्ति (Appointment) के बाद ही कार्यों की समीक्षा की जाएगी और अब उसे मंजूरी देने की जरूरत होगी तो उसे मंजूरी दी जाएगी। 

    कार्यों को स्थगित करने का आदेश

    जिला वार्षिक योजनान्तर्गत विभिन्न उप-योजनाओं के अन्तर्गत जिले के विकास हेतु निधि उपलब्ध करायी जाती है। नाशिक जिले में फंड बंटवारे को लेकर पूर्व मंत्री छगन भुजबल और विधायक सुहास कांदे के बीच विवाद कोर्ट में चला गया। इस बीच एकनाथ शिंदे के शिंदे गुट के बाद महाविकास अघाड़ी सरकार अल्पमत में आ गई। उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। इस बीच नाशिक के पूर्व पालक मंत्री छगन भुजबल ने 28 जून को योजना समिति की बैठक की। जिला योजना समिति के कोष वितरण का प्रथम मामला नाशिक से आते ही मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने इन कार्यों को स्थगित करने का आदेश दिया। 

    पालक मंत्री की नियुक्ति के बाद जारी होगा कार्य

    जिला वार्षिक योजना की बैठक में तहत राज्य के सभी जिलों में स्वीकृत सभी कार्यों को स्थगित करने का आदेश दिया गया है। सभी जिलों के लिए नए पालक मंत्री की नियुक्ति के बाद ही विभिन्न विकास योजनाओं को मंजूरी दी जाएगी। आदेश में कहा गया है कि जिले के नए पालक मंत्री की नियुक्ति के बाद ही स्वीकृत कार्यों की सूची पालक मंत्री को सौंपी जाएगी और इन कार्यों को जारी रखने की योजना बनाई जाएगी। 

    मुख्यमंत्री के पास शिकायत दर्ज

    नाशिक जिले के पूर्व पालक मंत्री छगन भुजबल ने जिला योजना कार्यसमिति की बैठक की और सभी निर्वाचन क्षेत्रों में समान रूप से 567 करोड़ रुपए की धनराशि वितरित करने का निर्णय लिया है, हालांकि, विधायक सुहास कांदे ने इस बात का मुद्दा उठाया कि जब सरकार अस्थिर थी, इस तरह की बैठक कैसे हुई और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के पास शिकायत दर्ज कराई है। मुख्यमंत्री ने जिला कलेक्टर गंगाधरन डी। उनसे फोन पर बात करते हुए उन्होंने काम टालने का सुझाव दिया। 

    7.80 करोड़ का फंड बांटा

    सामान्य उपयोजना के तहत नासिक जिले के लिए 600 करोड़ रुपए का परिव्यय स्वीकृत किया गया है। मांगी-तुंगी में भगवान ऋषभदेव के राज्याभिषेक समारोह के लिए डीपीडीसी की ओर से 7.80 करोड़ रुपए की राशि भी वितरित की गई है, इससे फंड के बंटवारे पर सवाल खड़ा हो गया है।