Onion price rise due to decrease in arrivals at APMC Navi Mumbai

लासलगांव. लासलगांव (Lasalgaon) सहित जिले की कृषि उपज मंडी समिति (Agricultural Produce Market Committee) में नई प्याज की आवक बढ़ गई है। वहीं आवक बढ़ने से प्याज (onion) के दामों में गिरावट शुरू हो गई है। मंडी में नई लाल प्याज को 7 रुपए से लेकर 18 रुपए प्रति किलो का भाव मिल रहा है। वापसी की बारिश के कारण प्याज की फसल का बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है।

वर्तमान में मिल रहे दाम से किसानों की लागत रकम भी वसूल नहीं हो रही है। इसलिए किसान निर्यात पर लगाई हुई पाबंदी हटाने की मांग कर रहे हैं। किसानों के अनुसार प्याज निर्यात पर पाबंदी लगाने के कारण किसानों के होने वाले नुकसान को लेकर सरकार मौन साधे हुए है। प्याज के ठोक बिक्री दाम 60 रुपए किलो से आगे पहुंचने के बाद केंद्र सरकार ने प्याज निर्यात पर पाबंदी लगा दी थी। भंडारण पर मर्यादा लगाई थी। विदेशों से प्याज की आयात की गई और व्यापारियों पर छापामारी भी हुई। इसके बाद प्याज की बड़े पैमाने पर आवक होने के बाद मंडी समिति में दामों में गिरावट होनी शुरू हो गई है।

निर्यात पर लगी पाबंदी हटाने की मांग

इसलिए प्याज उत्पादक किसानों के हितों का विचार करते हुए केंद्र सरकार ने तत्काल निर्यात पर लगाई हुई पाबंदी हटाने की मांग किसान संगठन कर रहे हैं। वर्तमान में मंडी में आने वाली प्याज खरीफ मौसम की होने के कारण इसका भंडारण करना मुश्किल होता है। यह उपज तत्काल खराब होती है, इसलिए उसकी तत्काल बिक्री करने के अलावा दूसरा विकल्प नहीं होता। इसका परिणाम दामों पर हो रहा है।

इस बार प्याज बीज की किल्लत होने और बेमौसमी बारिश के कारण प्याज के पौधों का नुकसान होने के कारण फसल का बड़े पैमाने पर परिणाम हो रहा है। बीमारियों के कारण किसानों को लागत अधिक लगी है। इस बीच कोरोना महामारी के कारण मार्च 2020 से कृषि फसल के दामों को लेकर अनिश्चितता होने के कारण प्याज उत्पादक समस्या से घिर गए। इसलिए प्याज पर लगाए गए निर्बंध तत्काल हटाने की मांग किसान कर रहे हैं।

तत्काल निर्णय आवश्यक

खरीफ मौसम प्याज उत्पादकों को दाम गिरने से आर्थिक नुकसान उठाना पड़ रहा है। मंडी में खरीफ की फसल पहुंचना शुरू हो गया है। मांग से अधिक आपूर्ति हो रही है, इसलिए प्याज निर्यात पर लगाई हुई पाबंदी तत्काल हटाने का निर्णय करना जरूरी है।

-मनोज जैन, प्याज व्यापारी

हल निकालना जरूरी

जिले में प्याज उत्पादकों को बड़े पैमाने पर आर्थिक नुकसान उठाना पड़ा है, इसलिए किसान आंदोलन पर टिप्पणिया करने से पहले प्याज की समस्या का हल निकालना जरूरी है।

-निवृत्ति न्याहारकर, किसान

आय दोगुनी कैसे होगी?

जिले के प्याज उत्पादकों को दो पैसे मिल रहे थे। इस बीच केंद्र सरकार ने प्याज निर्यात पर पाबंदी लगाई। विदेशी प्याज की आयात की। इससे किसानों का करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ। केंद्र सरकार कहती है, 2022 तक किसानों की आय दोगुनी होगी, लेकिन अगर इस प्रकार किसान विरोधी निर्णय हुए तो फिर आय दो गुणा कैसे होगी?

-राजाबाबा होलकर, किसान, लासलगांव