भिवंडी: सीएम एकनाथ शिंदे (CM Eknath Shinde) के आदेश के बाद भी मुंबई-नासिक हाईवे (Mumbai-Nashik Highway) पर गड्ढों (Potholes) की मरम्मत नहीं किए जाने का खामियाजा वाहन चालकों को भोगना पड़ रहा है। नेशनल हाईवे क्रमांक-48 (National Highway-48) पर हुए जगह-जगह गड्ढों की वजह से वाहन रेंग कर चलने की मजबूरी झेल रहे हैं, जिससे भिवंडी-राजनोली नाका से ठाणे-माजीवाडा तक भारी जाम लग रहा है। भिवंडी से ठाणे की मात्र 18 किलोमीटर की दूरी को तय करने में वाहन चालकों को करीब तीन घंटे लग रहे हैं।
गौरतलब है कि मुंबई-नासिक हाईवे क्रमांक-48 करीब 15 दिनों से शुरु भारी बरसात की वजह से पूर्णतया गड्ढों में तब्दील हो गया है। ठाणे-मजीवाडा से भिवंडी-राजनौली नाका तक सड़क के दोनों तरफ बड़े-बड़े गड्ढे बन गए हैं। वाहन चालकों को जानलेवा गड्ढे से गुजर कर रास्ता तय करना पड़ रहा है। जगह-जगह हुए गड्ढे की वजह से वाहन चालक रेंग-रेंग कर मिनटों की दूरी घंटों में तय कर रहे हैं। नेशनल हाईवे पर लगने वाले भारी जाम की वजह से अत्यावश्यक सेवाएं भी प्रभावित हो रही हैं।
शुगर के मरीज झेल रहे कठिनाई
हाईवे पर लगने वाले यातायात जाम की वजह से ठाणे से भिवंडी करीब तीन घंटे में पहुंचने के दौरान शुगर पीड़ित पुरुष, महिलाओं को शौच की भारी दिक्कत झेलनी पड़ रही है। भारी जाम के कारण समय से घर नहीं पहुंचने की वजह से शुगर के मरीज हाईवे पर कहीं शौचालय नहीं होने से परेशानी झेल रहे हैं। ठाणे से भिवंडी यात्रा करने वाली शुगर पीड़ित महिलाओं को तो पेट पकड़कर यात्रा करनी पड़ रही हैं। वाहन चालकों का आरोप है कि नेशनल हाईवे के किनारे शौचालय निर्माण की मांग यात्री वर्षों से कर रहे हैं, लेकिन नेशनल हाइवे अथॉरिटी कोई ध्यान नहीं होने से यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा हैं।
सीएम शिंदे के आदेश का भी नहीं दिख रहा असर
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने बरसात के पहले ठाणे जिले सहित आसपास के मार्गों पर हुए तमाम गड्ढों की भराई का आदेश संबंधित विभाग के अधिकारियों को दिया था। मुख्यमंत्री के आदेश का कुछ समय तक तो अनुपालन हुआ बाद में सब अधिकारी लापरवाह हो गए हैं।
ठाणे, मुंबई जाने के लिए जरूरी होने के बाद भी भयंकर जाम की स्थिति को देखते हुए लोगों को सौ बार सोचना पड़ता है। नेशनल हाईवे अथॉरिटी सब कुछ जान समझ कर भी चुप्पी साधे हुए है। कभी-कभार दिखावे के तौर पर हाईवे पर हुए गड्ढों की मरम्मत की जाती हैं, लेकिन कुछ समय में ही गड्ढे जस के तस हो जाते हैं।
- रविंद्र त्रिपाठी, यात्री
मुंबई-नासिक हाईवे से यात्रा करना मुसीबत को दावत देना हैं। हाईवे के विस्तारीकरण का कार्य शुरू होने के बावजूद गड्ढों की मरम्मत पर कोई ध्यान नहीं है। नेशनल हाईवे से भिवंडी-ठाणे तक की यात्रा बेहद थकाऊ और दुखदाई हो गई है। भयंकर जाम की चपेट में आकर इमरजेंसी सेवाएं भी बाधित होने से मरीज भी दुख झेल रहे हैं। शासन को हाईवे की मरम्मत का विशेष संज्ञान लेना चाहिए।
-प्रदीप राका, पूर्व सभापति, भिवंडी महानगरपालिका शिक्षण मंडल