सोयाबीन फसल की कटाई शुरू, दाम बढ़ने तक सोयाबीन रख नहीं पाएंगे किसान

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    • उत्पादन भी कम हुआ
    • तिल्ली की फसल की भी हानि

    अकोला. फिलहाल जिले के अनेक क्षेत्रों में सोयाबीन फसल की कटाई शुरू है. यह उल्लेखनीय है कि जिन किसानों ने शुरूआत में ही सोयाबीन की बुआई की थी, उन किसानों ने सोयाबीन की फसल की कटाई पहले ही कर ली थी. उन किसानों का काफी नुकसान हुआ है जिनके खेतों में बुआई काफी देरी से हुई थी. हाल ही में हुई बारिश के कारण सोयाबीन की फसल का काफी नुकसान हुआ है. अभी भी अनेक क्षेत्रों में किसानों के खेतों में कीचड़ देखा जा सकता है.

    इस स्थिति में किसानों द्वारा सोयाबीन की कटाई शुरू की गयी है. कुछ दिनों से मौसम खुल गया है. उसे देखते हुए किसान कीचड़ में जाकर सोयाबीन की फसल की कटाई कर रहे हैं. उस पर किसान इस बात को लेकर चिंतित हैं कि सोयाबीन के दाम 11 हजार रू. से घट कर 5,800 से लेकर 6 हजार तक आ गए हैं. उस पर जब अभी कटाई के बाद सोयाबीन बाजार में आएगा तो क्या दाम रहेंगे. क्योंकि अभी फसलों की कटाई के बाद सभी किसान सोयाबीन बाजार में लेकर आएंगे.

    इंतजार नहीं कर पाएंगे किसान

    हर बार सोयाबीन की फसल निकलने के बाद अनेकों किसान सोयाबीन का स्टाक कर के दाम बढ़ने का इंतजार करते थे लेकिन इस बार वैसी स्थिति भी नहीं दिखाई दे रही है. एक तो पहले ही सोयाबीन के दाम कम हो गए हैं उस पर उत्पादन भी घटा है. पहले ही स्थिति खराब है. स्थानीय किसान दीपेश तिवारी से बातचीत करने पर उन्होंने बताया कि वर्तमान समय में खेती का खर्च काफी बढ़ गया है.

    उस कारण से कुछ किसानों का तो उत्पादन खर्च भी नहीं निकल पा रहा है. उस पर हाल ही में हुई बारिश के कारण भी फसलों की काफी हानि हुई है. इस बार किसान स्टाक कर के दाम बढ़ने का इंतजार नहीं कर सकते हैं क्यों कि पिछले दिनों हुई बारिश के कारण सोयाबीन की फसल को पानी लग गया है, इसलिए सोयाबीन बेचना ही ठीक रहेगा. 

    तिल्ली की फसल की भी हानि

    इस बारे में किसानों से बातचीत करने पर उन्होंने बताया कि पिछले दिनों हुई बारिश के कारण अनेक किसानों के खेतों में तिल्ली की फसल झड़ गयी है. जिन किसानों की फसल बची भी है उनके खेतों में तिल्ली बारिश के कारण काली हो गयी है. इसलिए तिल्ली की फसल का भी काफी नुकसान हुआ है. नगद राशि की फसल समझी जानेवाली मूंग और उड़द की फसल तो पहले ही किसानों के हाथ से जा चुकी है. इस बात को लेकर भी किसान काफी परेशान देखे जा रहे हैं. सिर्फ तुअर की फसल की स्थिति अच्छी देखी जा रही है. कुछ भी हो किसान चिंता में ही दिखाई दे रहे हैं.