चंडीगढ़: दिल्ली (Delhi) और उसके आस पास के इलाकों में बढ़ते प्रदूषण (pollution) को लेकर चिंता बढती जा रही है। इस बीच पराली (stubble) जलाने को लेकर एक नया विवाद खड़ा हो गया है। हरियाणा सरकार (Haryana government) ने पंजाब (Punjab) पर आरोप लगाते हुए कहा है कि वहां पराली जलाने के ज्यादा मामले आए हैं। हरियाणा CM मनोहर लाल खट्टर ने एक प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि पंजाब की तुलना में हरियाणा में 10 फीसदी भी पराली जलाने की घटनाएं नहीं हैं।
चंडीगढ़ में मीडिया से बातचीत में CM मनोहर लाल खट्टर कहा कि हरियाणा में पराली जलाने की घटनाएं बहुत कम हो गई हैं। पिछले वर्ष पराली जलाने की 2,561 घटनाएं थी वो इस वर्ष 1,925 हो गई है। जबकि इस वर्ष पंजाब में 13,873 घटनाएं हुई है।
पंजाब की तुलना में हरियाणा में 10 फीसदी भी पराली जलाने की घटनाएं नहीं हैं,हमारे यहां पराली जलाने की घटनाएं बहुत कम हो गई हैं। पिछले वर्ष पराली जलाने की 2,561 घटनाएं थी वो इस वर्ष 1,925 हो गई है जबकि इस वर्ष पंजाब में 13,873 घटनाएं हुई है: हरियाणा CM मनोहर लाल खट्टर,चंडीगढ़(31.10) pic.twitter.com/kv4oJ2awGu
— ANI_HindiNews (@AHindinews) November 1, 2022
उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने पराली जलाने की घटनाओं को रोकने के लिए कई निर्णय लिए हैं। पराली न जलाने वाले किसानों को 1,000 प्रति एकड़ की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। पानीपत सहित उसके आसपास के 3 जिलों में IOCL ने इथेनॉल प्लांट लगाया है। जिसके लगने से 4 जिलों की पराली ये प्लांट लेगा। पंजाब की तुलना में हरियाणा में 10 फीसदी भी पराली जलाने की घटनाएं नहीं हैं।
मीडिया की माने तो पंजाब में पराली जलाने की घटनाओं में भारी वृद्धि के बीच सोमवार को ऐसे 2,131 मामले सामने आए जो इस सीजन में अब तक की सर्वाधिक संख्या है। संगरूर में पराली जलाने की सबसे अधिक 330 घटनाएं हुईं। पंजाब रिमोट सेंसिंग सेंटर द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार पराली जलाने की नई घटनाओं के साथ ही 15 सितंबर से 31 अक्टूबर के बीच ऐसी घटनाओं की संख्या बढ़कर 16,004 तक पहुंच गई। वर्ष 2020 और 2021 में, इसी अवधि के दौरान राज्य में क्रमशः 29,615 और 13,124 ऐसी घटनाएं दर्ज की गई थीं।