Sankashti Chaturthi

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    -सीमा कुमारी

    इस साल की आखिरी ‘संकष्टी चतुर्थी ‘(Sankashti Chaturthi) 22 दिसंबर बुधवार को है। बुधवार के दिन पड़ने वाली ‘संकष्टी चतुर्थी’ को बहुत ही अधिक शुभ माना जाता है। क्योंकि, बुधवार का दिन ‘विघ्नहर्ता गणेश जी को समर्पित होता है और उस दिन संकष्टी चतुर्थी होने के कारण अधिक फलदायी होगी।

    इस दिन गणेश जी को प्रसन्न करने के लिए उपवास रखा जाता है। इस दिन चंद्रमा के दर्शन के बाद ही व्रत का पारण किया जाता है। मान्यता है कि इस दिन जो भी श्रद्धालु पूरे भक्ति भाव से गणपति की आराधना करता है, उसके जीवन के समस्त  समस्याओं से मुक्ति मिलती है। आइए जानिए ‘संकष्टी चतुर्थी’ का पूजा मुहूर्त और पूजन विधि के बारे में।

    शुभ – मुहूर्त:

    तिथि: 22 दिसंबर , 2021, बुधवार

    पूजन मुहूर्त: रात्रि 08:15 से रात्रि 09:15 तक (अमृत काल)

    चंद्र दर्शन मुहूर्त: रात्रि 08:30 से रात्रि 09:30 तक

    पूजन विधि

    सबसे पहले ब्रह्ममुहूर्त में स्नानआदि करके स्वच्छ वस्त्र धारण करें। 

    पूजा के लिए ईशान कोण में चौकी पर भगवान गणेश की मूर्ति स्थापित करें। 

    सबसे पहले चौकी पर लाल या पीले रंग का कपड़ा बिछाएं।

    भगवान के सामने हाथ जोड़कर पूजा और व्रत का संकल्प लें।

    गणेश जी को जल, अक्षत, दूर्वा घास, लड्डू, पान, धूप आदि अर्पित करें।

    ॐ ‘गं गणपतये नमः’ मंत्र का जाप करते हुए भगवान गणेश से प्रार्थना करें।

    इसके उपरांत एक केले का पत्ता लें, इस पर आपको रोली से चौक बनाएं। 

    चौक  के अग्र भाग पर घी का दीपक रखें।  

    पूजा के बाद चंद्रमा को शहद, चंदन, रोली मिश्रित दूध से अर्घ्य दें और व्रत का पारण करें।