वर्धा. शराब बंदी होने के बावजूद भी शहर के अधिकांश हॉटेल में शराब मिलने के साथ ही पीने की सुविधा मिलती है. मात्र नये एसपी ने पदभार संभालने के बाद उनका शराबियों व हॉटेल मालिकों पर हंटर चला है. हॉटेल शराब पीना व पिकर आने के लिये वर्ज किया गया है. पुलिस विभाग ने इस संदर्भ में शहर व जिले के हॉटेल मालिकों से लिखित लिया है.
गांधी विनोबा की कर्मभूमि होने के कारण जिले में शराब बंदी की गई है. मात्र शराबबंदी का इतिहास देखा तो शहर व जिले में कहीं पर भी आसानी से शराब उपलब्ध होती. बिते ढाई वर्ष में तो जिले की शराबबंदी हट गई है, ऐसा चित्र सर्वत्र था. अनेक जगह पर बार जैसी सुविधा शुरू हुई थी. तथा चंगेड नामक जुआं, गांजा व अपराधिक घटनाओं में भारी बढोत्तरी हुई थी. जिससे नागरिकों में भी पुलिस विभाग की कार्यप्रणाली को लेकर नाराजगी जताई जा रही थी.
दरमियान पालकमंत्री पद की जिम्मेदारी स्वंय उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने लेने के बाद स्थानिय सांसद, विधायकों, व्यापारी व नागरिकों ने पुलिस अधीक्षक प्रशांत होलकर की कार्यप्रणाली को लेकर शिकायते कर शराब विक्री व अपराधिक घटनाओं पर अंकुश लगाने की मांग की थी.
इस संदर्भ में जल्द एक्शन लेने का आश्वासन फडणवीस दिया था. बिते सप्ताह गूह विभाग ने पुलिस अधीक्षक प्रशांत होलकर के तबादले का आदेश निकालकर उनकी जगह पर नागपुर पुलिस उपायुक्त नुरूल हसन की नियुक्ती कर उन्हें अपराधियों पर लगाम लगाने तथा शराब विक्री के संदर्भ में एक्शन लेने के सक्त निर्देश दिये थे. सोमवार को पदभार स्विकारने के बाद एसपी हसन ने संबंधित थानेदारों को आदेश देते हुए शराब विक्री, चेगंड, मटका, गांजा विक्री व अपराधियों पर कार्रवाई करने के निर्देश दिये थे. बिते तीन दिनों से पुलिस विभाग एक्शन में आया था.
अन्यथा हॉटेल का लायन्स्स होगा रद्द
हॉटेल व पानठेलों पर शराब विक्री व पिने की व्यवस्था होने के कारण एसपी के आदेश के बाद शहर व जिले के हॉटेल पर कार्रवाई आरंभ की गई थी. पुलिस ने सभी हॉटेल मालिकों से लिखित अग्रिमेंट किया है. जिसके अनुसार हॉअेल में शराब नही बेची जायेगी तथा पिने के लिये भी पाबंदी लगाई जायेगी. शराब पिकर आनेवाले व्यक्ती को एंट्री नही दी जायेगी. अग्रिमेंट का उल्लंघन होने पर हॉटेल का लायन्सस रद्द करने का प्रावधान भी किया गया है. परिणामवश बिते दो दिनों से शराबियों शराब के लिये दर दर भटकना पड रहा है.