पेयजल समस्या को लेकर बीजेपी का औरंगाबाद महानगरपालिका कमिश्नर के बंगले के सामने आंदोलन

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    औरंगाबाद: गत कुछ दिनों से शहर के सिडको-हडको परिसर (CIDCO-HUDCO Complex) में पेयजल आपूर्ति (Drinking Water Supply) में कई बाधाएं निर्माण हो रही हैं। कई इलाकों में गंदे पानी की पेयजल आपूर्ति हो रही है। जिससे इस परिसर के नागरिक परेशान हैं। प्रशासन को इन सभी समस्याओं से अवगत कराने के लिए बीजेपी (BJP) के पूर्व नगरसेवक शिवाजी दांडगे, महेश मालवतकर, बालाजी मुंडे, नित्तिन चित्ते, राज वानखेडे, प्रमोद राठोड, अमेय देशमुख, नितिन खरात  के नेतृत्व में पहले सिडको एन-5 स्थित पानी की टंकी पर आंदोलन किया।  

    वहां औरंगाबाद महानगरपालिका (Aurangabad Municipal Corporation) के किसी भी अधिकारी ने आंदोलन पर ध्यान न देने पर बीजेपी के नेता महानगरपालिका कमिश्नर आस्तिक कुमार पांडेय के बंगले पर पहुंचे। आंदोलन में बड़ी संख्या में महिलाएं शामिल थी। आंदोलन को औरंगाबाद पूर्व के बीजेपी विधायक अतुल सावे ने समर्थन देकर प्रशासन से तत्काल इस परिसर की पेयजल समस्या हल करने की मांग की। 

    महानगरपालिका के खिलाफ जमकर हुई नारेबाजी

    बीजेपी के नेताओं ने कमिश्नर के बंगले पर पहुंचने पर महानगरपालिका प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। आंदोलनकारियों ने बंगले के सामने आंदोलन शुरु करते ही कमिश्नर पांडेय आंदोलनकारियों से  मिलने पहुंचे। वहां उन्होंने विधायक अतुल सावे सहित बीजेपी के पूर्व नगरसेवकों से सिडको-हडको की पेयजल समस्याओं को जानकर उन्हें हल करने का आश्वासन दिया। इससे पूर्व भाजपाईयों ने सिडको एन-5 स्थित पानी की टंकी सामने आंदोलन शुरु किया था। इस आंदोलन की प्रशासन के अधिकारियों ने दखल न लेने पर आंदोलनकारी बस में सवार होकर कमिश्नर के दिल्ली गेट स्थित सरकारी बंगले पर पहुंचे।

    पेयजल आपूर्ति में बाधाओं से सिडको-हडको वासी त्रस्त

    भाजपाईयों ने कमिश्नर पांडेय के नाम सौंपे ज्ञापन में बताया कि पिछले कई दिनों से सिडको-हडको परिसर के वार्डों को पेयजल आपूर्ति करनेवाले एन-5, एन-7 पानी की टंकियों पर पेयजल आपूर्ति का नियंत्रण पूरी तरह बाधित हुआ है। आम तौर पर शहर में हर वार्ड में 4 दिन गैप देकर पेयजल आपूर्ति हो रही है, लेकिन सिडको-हडको परिसर में एक दिन अधिक का गैप देकर पेयजल आपूर्ति की जा रही है। जिससे समय पर पेयजल आपूर्ति कर अदा करनेवाले हजारों नागरिक गर्मी के मौसम में पानी को लेकर परेशान हैं। विशेषकर चार दिन गैप देकर जब पेयजल आपूर्ति की जाती, तब दिए हुए तय समय से तीन से चार घंटे बाद नलों में पानी आता है। या फिर आपूर्ति में  पूरा एक दिन समय में बदलाव किया जाता। पेयजल आपूर्ति होने के बाद कई इलाकों में कब दबाव से, कुछ स्थानों पर ड्रैनेज का गंदा पानी मिश्रित होकर नलों में आ रहा है। वहीं, कुछ इलाकों में कबुतरों के पंख भी पानी में आ रहे हैं। जिससे लोगों को पानी स्टॉक करने में कई दिक्कतें हो रही है। शहर में पेयजल कर समान है। फिर सिडको-हडको वासियों के साथ ही प्रशासन अन्याय क्यों कर रहा है? यह सवाल बीजेपी के पूर्व नगरसेवकों ने उपस्थित कर प्रशासन से तत्काल सिडको-हडको परिसर की पेयजल समस्या हल करने की मांग की। 

    …तो करेंगे आंदोलन

    ज्ञापन में भाजपाईयों ने शहर की पेयजल समस्या हल करने के लिए सरकार द्वारा हाथ में ली गई 1,680 करोड़ की पेयजल योजना का काम कछुए के गति से जारी होने का आरोप लगाते हुए इस काम को गति देने की मांग की। ज्ञापन में बीजेपी ने आरोप लगाया कि मुख्य पाइपलाइन से शहर के कुछ विशिष्ट लोगों को 24 घंटे पेयजल आपूर्ति जारी है। वहीं, जो लोग नियमित कर अदा करते, उन्हें 4 से 5 दिन गैप देकर पेयजल आपूर्ति की जा रही है। अंत में भाजपाईयों ने प्रशासन को चेताया कि वे तत्काल सिडको-हडको परिसर की पेयजल समस्या हल करें, वरना बीजेपी की ओर से कड़ा आंदोलन किया जाएगा। आंदोलन में पूर्व नगरसेवक अरुण पालवे, विवेक राठोड, अरुण पालवे, प्रमोद दिवेकर, सुभाष लोखंडे, नितिन राउत, शिवाजी दहिफल, सुनील मिरकर, उदय काले, मनोज उखलकर, सुनील देशमुख, रामलाल बकले, रामचन्द्र नरोटे सहित सैकड़ों नागरिकों और महिलाओं ने हिस्सा लिया।