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    – एजाज अली 

    चंद्रपुर. पिछले वर्ष मार्च महीने में कोरोना संक्रमण के कारण लाकडाउन लगा दिया गया था. इसके कारण व्यापार क्षेत्र आज भी आर्थिक मंदी से उबर नहीं पाया है. लेकिन पर्यटन ऐसा क्षेत्र रहा जहां कोरोना संक्रमण भी बेअसर साबित हुआ. बाघों के प्रति लोगों के बढ़ते आकर्षण का नतीजा यह रहा कि कोरोना के बावजूद ताड़ोबा में आने वाले पर्यटकों की कोई कमी नहीं रही. केवल 5 माह में ही ताड़ोबा में आए पर्यटकों से कुल 5 करोड़ 41 लाख 44 हजार 980 रुपए की कमाई हुई है. इस दौरान कुल 1 लाख 44 हजार 845 पर्यटकों ने ताड़ोबा में सफारी की.

    लाकडाउन में बंद थी सफारी

    कोरोना संक्रमण अपने चरम पर होने से 18 मार्च 2020 से ही ताड़ोबा-अंधारी प्रकल्प को बंद कर दिया गया था. 1 जुलाई 2020 से बफर जोन में मानसून पर्यटन की शुरुआत हुई. वह भी कोरोना को खतरे को देखते हुए काफी कड़े नियम लगाए गए थे. कोअर में पर्यटन की शुरुआत प्रतिवर्ष की भांति मानसून का पूरा समय बीत जाने के बाद 1 अक्टूबर 2020 से हुई. अक्टूबर माह से लेकर फरवरी के बीच ताड़ोबा में 1 लाख 44 हजार 845 पर्यटकों ने सफारी की.

    अप्रैल 2020 से फरवरी 2021 के बीच कोअर में 56 हजार 988 पर्यटक पहुंचे, जिनसे 3 करोड़ 9 लाख 24 हजार 600 रुपये की कमाई हुई. बफर में 87,857 पर्यटकों के माध्यम से 2 करोड़ 32 लाख 20 हजार 380 कुल मिलाकर 5 करोड़ 41 लाख 44 हजार 980 रुपये की कमाई हुई. पिछले वर्ष 2019-2020 में कोअर क्षेत्र में 1 लाख 828 पर्यटकों से 9 करोड़ 23 लाख 66 हजार 465 रुपए और बफर में 1 लाख 22 हजार 114 पर्यटकों से 5 करोड़ 04 लाख 73 हजार 770 रुपए की आय ताड़ोबा प्रबंधन को हुई थी.

    बाघों को देखने का जुनून

    पिछले 4 वर्षों में पर्यटकों के आंकड़ों को देखे, तो हर वर्ष पर्यटकों की संख्या में इजाफा हुआ है. हालांकि इस दौरान ताड़ोबा प्रबंधन ने काफी सख्त नियम और पर्यटन शुल्क में इजाफा किया. किंतु पर्यटकों का बाघों को देखने का जुनून इन सभी बातों पर हावी रहा. वर्ष 2017-2018 में 1 लाख 66 हजार 783 पर्यटक, 2018-2019 में 1 लाख 81 हजार 467 पर्यटक, वर्ष 2019-2020 में 2 लाख 22 हजार 942 पर्यटक और 2020-2021 में 1 लाख 44 हजार 845 पर्यटक ताड़ोबा पहुंचे हैं.

    अभयारण्य में 20 प्रवेश द्वार

    ताड़ोबा अभयारण्य में वर्तमान में 20 प्रवेश द्वारों से पर्यटकों को प्रवेश दिया जाता है. इसमें कोअर में 6 और बफर में 14 प्रवेशद्वारों का समावेश है. कोअर को काफी संवेदनशील क्षेत्र माना जाता है, जबकि बफर में पर्यटकों को रिझाने के लिए न केवल सफारी का सुअवसर है, बल्कि यहां बोटिंग, पक्षी निरीक्षण, मचान, साइकिलिंग, नेचर वाक, मचान स्टे, नाइट सफारी, लांगहट, हाइकिंग जैसी सुविधाएं आदि पर्यटकों को आकर्षित करती है. यहां बने बटरफ्लाय गार्डन ने इस क्षेत्र में चार चांद लगा दिए हैं. इन 5 महीनों में आए पर्यटकों में देश-विदेश की राजनीतिक हस्तियों, सुप्रसिद्ध देश-विदेशी खिलाड़ियों, कला, संस्कृति समेत अन्य क्षेत्र से जुड़े लोगों का समावेश है.