
- वडसा के जंगल से टी-14 बाघिन का खौफ हुआ समाप्त
गड़चिरोली. वड़सा वनविभाग अंतर्गत जंगल परिसर में बिते वर्ष सीटी 1 बाघ ने अनेक लोगो की जाने लेकर अपना खौफ निर्माण किया था. अंतत: वनविभाग के दस्ते ने अक्टूंबर 2022 में उसे बेहोश कर पकड़ा था. जिससे वडसा वनविभाग से बिते एक वर्ष तक बाघ का खौफ समाप्त हुआ था. ऐसे में एक सप्ताह पूर्व टी-14 नामक बाघिन ने देसाईगंज तहसील के फरी क्षेत्र में एक महिला का मौत के घाट उतारा था.
वहीं अनेक मवेशियों को अपना निवाला बना रही थी. जिससे इस परिसर में टी. 14 बाघिन का खौफ छाया हुआ था. वहीं मार्ग से आवागमन करनेवालों पर बाघिन का हमला होने की संभावना बढ़ गई थी. जिससे वनविभाग ने जाल बिछाकर बेहोश करते हुए उक्त आदमखोर बाघिन को पिंजरे में कैद किया है. जिससे उक्त परिसर के नागरिकों ने राहत की सांस ली है. वहीं अब बाघिन के पिंजरे में कैद होते ही वडसा तहसील में टी-14 बाघिन का खौफ समाप्त हुआ है.
बिते कुछ दिनों से देसाईगंज तहसील में आदमखोर टी-6 बाघिन की दहशत छायी थी. उक्त बाघिन ने अनेक मवेशियों को अपना निशाना बनाया था. वहीं 6 दिन पूर्व 11 सितंबर को देसाईगंज तहसील के फरी गांव में कृषिकार्य करने गई महानंदा मोहुर्ले इस महिला पर हमला कर उसे मौत के घाट उतारा था. तब से टी-14 बाघिन का देसाईगंज तहसील के फरी, शिवराजपुर, अरततोंडी परिसर में व्यापक दहशत निर्माण हुई थी. वहीं बाघिन के हमलों के चलते वनविभाग के प्रति नागरिकों का रोष व्यक्त हो रहा था.
उक्त मार्ग से आवागमन करनेवाले नागरिकों पर बाघिन के हमला करने का प्रयास करने की शिकायते बढ गई थी. जिससे वनविभाग ने आदमखोर बाघिन को पकडने के प्रयास शुरू कर दिए थे. बाघिन के कारण भविष्य में मानव व वन्यजीव संघर्ष टालने के लिए मुख्य वन्यजीव रक्षक तथा प्रधान मुख्य वनसंरक्षक (वन्यजीव) म.रा. नागपुर के अनुमति से आज टी -14 बाघिन को वडसा वनपरिक्षेत्र के नियतक्षेत्र- शिवराजपुर के कक्ष क्र. 866, में सुबह के दौरान बेहोश कर पकडा गया.
सुबह के दौरान कार्रवाई को दिया अंजाम
देसाईगंज तहसील के फरी गांव में टी-14 बाघिन द्वारा महिला को मौत के घाट उतारने के बाद नागरिकों में दहशत बढ गई थी. वहीं नागरिकों का रोष भी बढ रहा था. जिससे बिते कुछ दिनों से वनविभाग की टीम बाघिन की तलाश में थी. इस बिच आज सुबह 06.45 बजे के दौरान ताडोबा बाघ्र अंधारी प्रकल्प, चंद्रपुर के पशुवैद्यकिय अधिकारी तथा आरआरटी के प्रमुख डा. रविकांत खोब्रागडे तथा आरआरटी के सदस्य शुटर अजय मराठे ने उक्त बाघिन को बेहोश कर सकुशल पकडा. और उसे पिंजरे में कैद किया.
उक्त कार्यवाही वनसंरक्षक रमेशकुमार के मार्गदर्शन में वडसा के उपवनसंरक्षक धर्मवीर सालविठ्ठल, कुरखेडा के उपविभागीय वनअधिकारी मनोज चव्हाण, वनपरिक्षेत्र अधिकारी विजय धांडे, के उपस्थिती में वडसा परिक्षेत्र के क्षेत्रीय कर्मचारी कराडे, क्षेत्रसहाय्यक तिजारे व वनरक्षक गजभिये, अक्षय दांडेकर, अमोल पोरटे, मनन शेख, आदि ने की.
बाघिन गोरेवाडा में हुई रवाना
देसाईगंज तहसील के शिवराजपुर जंगल परिसर से टी-14 बाघिन को पिंजरे में कैद किया गया. इसके बाद उक्त बाघिन की स्वास्थ्य जांच की गई. वह बाघिन की उम्र करीब 2 वर्ष है. संपूर्ण कार्यवाही पूर्ण करने के बाद बाघिन को बालासाहेब ठाकरे, आंतरराष्ट्रीय प्राणी संग्रहालय गोरेवाडा, नागपुर में रवाना किया गया.